स्थानीय निकायों और आपदा प्रबंधन की तैयारियां अधूरीः सूर्यकांत धस्माना

उत्तराखंड कांग्रेस कमेटी के वरिष्ठ उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना ने कहा कि राज्य सरकार व आपदा प्रबंधन विभाग के बरसात में आपदा व जल भराव से निपटने की सरकार की तैयारियों के दावों की पोल राज्य में प्री मानसून की पहली बरसात में ही खुल गई। राजधानी देहरादून हरिद्वार, ऋषिकेश, कोटद्वार, पौड़ी और हल्द्वानी समेत अनेक जगहों पर बरसात के कारण बाढ़ जैसी स्थिति बन गई। हरिद्वार में सूखी नदी पर खड़े दर्जनों चार पहिया वाहन बह कर गंगा में पहुंच गए। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
अपने कैंप कार्यालय में पत्रकारों से बातचीत में धस्माना ने कहा कि राजधानी के अनेक इलाके एक घंटे से कम की बारिश में जल मग्न हो गए। मई के महीने से ही हमारे द्वारा सरकार शासन जिला प्रशासन व नगर निगम से यह मांग की जा रही थी कि मानसून आने से पहले बारिश से होने वाले नुकसान व जल भराव की समस्या के समाधान को एजेंसियां तैयार रहें। इस पर सरकार, आपदा प्रबंधन विभाग, जिला प्रशासन व नगर निगम बड़े बड़े दावे कर रहे थे, लेकिन प्री मानसून की कुछ बौछारों ने ही इनकी सारी तैयारियों की पोल खोल दी। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि देहरादून में राजपुर रोड, हरिद्वार रोड, सहारनपुर रोड, हरिद्वार बाई पास, जीएमएस रोड समेत शहर के भीतरी इलाकों डीएल रोड, करनपुर, डालनवाला, ब्राह्मणवाला, सीमाद्वार समेत अनेक इलाकों में जल भराव हो गया। राजधानी देहरादून में स्मार्ट सिटी के नाम पर जो काम किया गया, उसकी भी पोल खुल रही है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि शहर के हृदय स्थल घंटाघर में पिछले कई महीनों से न्यू मार्केट के सामने नाले के ऊपर फुटपाथ के स्लैब उखाड़े गए थे। नाले की मरम्मत के लिए आज तक पूरा काम नहीं हो पाया है। इसी प्रकार राजपुर रोड में डाइवर्जन से लेकर पुराना राजपुर ओल्ड मसूरी रोड की दोनों ओर साइकिलिंग ट्रैक का काम भी पिछले एक साल से वो कछुए की चाल से चल रहा है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि पिछले दो सालों में एमडीडीए की मेहरबानी से बिना पार्किंग की सुविधा के दो दर्जन से ज्यादा बड़े रेस्तरां व कैफे खुल गए हैं। इनके ग्राहकों के चौपहिया वाहन राजपुर रोड पर पार्क किए जा रहे हैं। इससे रास्ता जाम की स्थिति बनी रहती है। निर्माण स्थल पर जल भराव होने लगा है। पिछले वर्ष स्मार्ट सिटी के अधूरे कार्यों की वजह से पूरे शहर में डेंगू का प्रकोप फैला और हजारों लोग बीमार पड़े। अनेक लोगों की मृत्यु भी हुई, उस स्थिति में बहुत ज्यादा सुधार नहीं हुआ है। एक बार फिर बरसात आते ही डेंगी का खतरा मंडराने लगा है। शासन प्रशासन व सरकार इस विषय में गंभीर नहीं लगते हैं। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
धस्माना ने कहा कि जब प्री मानसून की छुटपुट बारिश में राज्य की राजधानी का यह हाल हो रहा है तो पूरी बरसात में क्या स्थितियां बन सकती हैं। इस का अंदाजा लगाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि वे राज्य के मुख्यमंत्री जो आपदा प्रबंधन विभाग के भी मंत्री हैं, उनसे इस विषय पर मिल कर मांगपत्र व सुझावपत्र सौंपेंगे।
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भानु बंगवाल
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।