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October 29, 2025

साहित्य जगत

मैं सरकस का सिंह रहा सुखमय मम जीवन।मिला किंतु अब बड़ा कठिन ही है यह कानन।।बिना कष्ट था भोजन मिलता...

कूड़ा बीनने वाले हर शहर मेसूरज से पहलेउठकर सड़को पर आ जाते हैंकुछ बच्चेकंधे पर लाद कर बोरियांबिना चप्पल कुछतेज...

क्यों इस तरह छड़े पे तमाचा जमा दिया।देकर पुलिस की धमकी उसे है डरा दिया।। आराम करने देते छड़े को...

जमाना उधार है इंसान मत पूछ मेरी हैसियत क्या है,मेरी आरामगाह मेरे आराम केमाकूल है ज़माने…..सच ही तो है जब...