कवि ललित मोहन गहतोड़ी की कविता-ख़बरें
ख़बरें
खासकर वह बासी खबरें…
बासी नहीं तिबासी खबरें…
होती सब बकबासी खबरें…
करती बहुत उदासी खबरें…
लद गये दिन वह खबरों के…
प्रश्न चिह्न बन जाती खबरें…
अबकी खबरें पकी अधपकी…
पेट में मरोड़ सी उठाती खबरें…
पहले खबरें सुर्खियां बनती…
अब पकाई जाती हैं खबरें…
लंबा समय बीत जाने के बाद…
सुर्ख़ियां में अब आती खबरें…
खबरों की जब बात चली है…
खबर चलाना बात भली है…
बात पते की खबर तुम करना…
खबर के बदले जेब मत भरना…
कवि का परिचय
नाम-ललित मोहन गहतोड़ी
शिक्षा :
हाईस्कूल, 1993
इंटरमीडिएट, 1996
स्नातक, 1999
डिप्लोमा इन स्टेनोग्राफी, 2000
निवासी-जगदंबा कालोनी, चांदमारी लोहाघाट
जिला चंपावत, उत्तराखंड।
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।