कासी-कोत्वाळ कासि कु- कोत्वाळ बड़ि कन डरांद जिंदगी. सयूं-सयूं धरु-धरु लिजै, कन रुलांद जिंदगी.. आज कु दिन-कनु कटे, भोळ की...
Poet and litterateur
अबकु-तबकु बच्पना घर भितर घुटि रै आंद, अब जमना बच्चों बच्पना. मोबैल म गुमसुम रांद, अब जमना बच्चों बच्पना.. दाजी...
एक छौ गांधी गांधी जी का तीन बांदर, नि रैग्या अब. झड़ि को बाघ - बांदरौं थैं, खैग्या अब.. चार-पीढ़ी,...
वर्डसप कि दुन्या वर्डसप कि दुन्यम , कतगा बानी-लिख्वार छन. क्वी कविता-कानी-चुटकला, क्वी-गितार छन.. क्वी छुयाळ, क्वी भलि-भलि बतौं का...
मिं पुरणु बग्त छुं एक-हैंका नजरोंम, अबि बि-मिं अकरु छूं. चंदी भौ-मुलौं कबि, अबत-फट्यूं चदरु छूं.. समै का दगड़ि, घटदि-...
पितरौं-श्राद्ध श्राद्ध ऐगे- श्राद्ध ऐगे, बच्चों मेरी- याद ऐगे. चार निसरौ-मेरा नवां, निकाऴि खांदा धरेगे.. सालभर म एक दिन, मेरा...
न ईं धार-न वीं धार सचम छैं- छौ कबि, खटकदार मीं. सचम छैं- छौ कबि, झटकदार मीं.. अपण मुलका,लौ-बॉण रै...
जीत-हार हरेका जीवनम, उकाळ- उंदार च. क्वी- डरि जांद, कैकु- बेड़ापार च.. हिकमत न टुटड़ि द्या, एक - हैंका, हिकमत...
गूंणि बांदर अछे ? रै-होला हम, गूंणि-बांदर पैलि कबि. सची ? हमरि बि- क्य, पूंछ- रै-ह्वेलि कबि.. सैन्स कि खोज-...
गाड-गदिनु बसगाऴ- बोगदि गाड, गौंक छाल-छाल. कन करद- स्वीस्याट, गौक छाल- छाल.. गदिनु- बड़ि जांद- गाड, रोलि नी- तरेंदि, बगि...