Loksaakshya Social

Social menu is not set. You need to create menu and assign it to Social Menu on Menu Settings.

Social menu is not set. You need to create menu and assign it to Social Menu on Menu Settings.

August 26, 2025

देहरादून में दंगल कराने वाले ट्रेड यूनियन नेता महाबीर शर्मा का निधन

सेन्टर आफ इंडियन ट्रेड यूनियन्स (सीटू) के उत्तराखंड के उपाध्यक्ष एवं जाने माने मजदूर नेता कामरेड महाबीर शर्मा नहीं रहे। उन्होंने एक संक्षिप्त बीमारी के बाद 88 वर्ष की उम्र में अपने रायपुर स्थित आवास में इस दुनिया को अलविदा कह दिया। देहरादून के परेड मैदान में हर रविवार को कुश्ती का आयोजन करने में महाबीर शर्मा का योगदान रहा। इस दंगल में दूसरे राज्यों से भी पहलवान भाग लेने के लिए पहुंचते थे।
महाबीर शर्मा रक्षा संस्थानों में कर्मचारी नेता रहे। सेवानिवृत्ति के बाद सीटू से सक्रियता जुड़े तथा विभिन्न पदों पर रहे। इस दौरान उनका जुड़ाव सीपीएम से भी रहा। उनका देहरादून में दंगल कुश्ती कराने में महत्वपूर्ण योगदान रहा। उनके निधन से मजदूर आन्दोलन को भारी क्षति हुई है।


महाबीर शर्मा बहुत ही अनुशासित थे। 88 की उम्र पार करने के बावजूद नियमित रुप से मजदूर आन्दोलन में भागेदारी करते थे। हर रविवार को परेड ग्राउंड में कुश्ती करवाते थे। साथ ही वह नए पहवानों को प्रहोत्साहित करते थे। उनके अन्तिम दर्शनों के लिये रायपुर स्थित उनके आवास पर अनेक मजदूर नेता मौजूद रहे। इनमे प्रमुख रूप से सीटू कार्यकारी अध्यक्ष राजेन्द्र सिंह नेगी, किसान सभा के अध्यक्ष सुरेंद्र सिंह सजवाण, कोषाध्यक्ष शिवपप्रसाद देवली, महामंत्री कमरूद्दीन, सीटू महामन्त्री लेखराज, अध्यक्ष किशन गुनियाल, उपाध्यक्ष भगवन्त पयाल, कोषाध्यक्ष रविन्द्र नौडियाल, सीपीएम जिला सचिव राजेंद्र पुरोहित आदि ने कामरेड महाबीर शर्मा के पार्थिव शरीर पुष्पांजलि अर्पित उनके सम्मान में महाबीर शर्मा अमर रहे नारे लगाया। उनकी अन्तिम शवयात्रा के बाद उनका पार्थिव शरीर अन्तेष्टि के लिये हरिद्वार ले जाया गया।
सीपीएम सचिव मंडल ने कामरेड महाबीर शर्मा के निधन पर दुख व्यक्त किया। पार्टी कार्यालय में आयोजित शोक सभा में साथ ही शोक सन्तप्त परिवार के प्रति हार्दिक संवेदना व्यक्त की। उनके निधन को अपूर्णीय क्षति कहा। पार्टी व सीटू ने उनके सम्मान में दो मिनट का मौन रखा। इस मौके पर अनन्त आकाश, लेखराज, शम्भू प्रसाद ममगाई ,माला गुरूग, किशन गुनियाल आदि शामिल थे।

Bhanu Bangwal

लोकसाक्ष्य पोर्टल पाठकों के सहयोग से चलाया जा रहा है। इसमें लेख, रचनाएं आमंत्रित हैं। शर्त है कि आपकी भेजी सामग्री पहले किसी सोशल मीडिया में न लगी हो। आप विज्ञापन व अन्य आर्थिक सहयोग भी कर सकते हैं।
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *