श्राद्ध पक्ष श्राद्ध पक्ष लगा आज से पित्रदेव धरती पर आये अपने घर-घर आकर वो सबको आशीष दे जाते। पूर्णिमा...
कविता
मां सरस्वती हे मां सरस्वती, तू प्रज्ञामयी मां चित्त में शुचिता भरो, कर्म में सत्कर्म दो बुद्धि में विवेक दो...
भ्रमित मत करो जनता को भ्रमित अपने झूठे वादो को करने से करेंगे काम तुम्हारे लिए सब झूठ वह...
मानव मर्यादा चरित्र अपना देखो किस ओर ढ़ल रहा है । मलिनता लिए उर किस ओर बढ़ रहा है तुम...
बालिकाये सरल हृदय की होती है बालिका सरस्वती की वाणी होती है, बालिका ही दुर्गा कल्याणी होती है। बालिका को...
कवि सम्मलेन एक दिन मैं बैंठी बैठी क कवि सम्मेलन का बारा म सोचण लग्यूं मैं कबि कवि सम्मेलन म...
राष्ट्र भाषा हिन्दी जन-गण-मन की अभिलाषा राष्ट्र भाषा हिन्दी, भारत मां के ललाट पर चमकती यह स्वर्ण बिन्दी, भारतीय भाषाएं...
घर जिसमें सब मिलकर रहते उसको कहते है सब घर । जिसमें ताऊ ,चाचा रहते उसको कहते है सब घर।...
जूगनूं नहीं डरता मैं अंधेरे से मैं तो प्रकाश देता सबको एक छोटा-सा उजाला देकर मैं राह दिखाता हूं सबको...
श्रृंगार कर्याल उठ दै मेरू लाड़ू मुख हाथ ध्वैयाल सैसर त्वैन जाती श्रृंगार कर्याल। उठ दै.......................... माथा म बिंदिया सिन्दूर...
