आढ़त बाजार गुरुद्वारे में धूमधाम मना श्री गुरु नानकदेव जी का प्रकाश पर्व, कांग्रेस महानगर कार्यकारी अध्यक्ष गोगी को किया सम्मानित

इस अवसर पर महानगर कांग्रेस कमेटी के कार्यकारी अध्यक्ष डॉ. जसविन्दर सिंह गोगी ने गुरु पर्व के अवसर पर देश व राज्यवासियों को बधाई एवं शुभकामनाएं दी। डॉ. जसविन्दर सिहं गोगी ने कहा कि श्री गुरुनानक देव जी ने धार्मिक कट्टरता के वातावरण में धर्म को उदारता की एक नई परिभाषा दी। उन्होंने कहा श्री गुरु नानक देव जी ने अपने सिद्वान्तों के प्रसार के लिए एक संयासी की तरह घर का त्याग कर दिया। साथ ही लोगों को सत्य और प्रेम का पाठ पढ़ाना आरम्भ कर दिया। उन्होंने कहा कि गुरु जी ने जगह-जगह घूमकर तत्कालीन अंधविश्वास, पाखण्डों आदि का जमकर विरोध किया। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
डॉ. गोगी ने कहा कि श्री गुरु नानक देव जी हिन्दु मुस्लिम एकता के भारी समर्थक थे। उन्होंने धार्मिक सद्भाव की स्थापना के लिए सभी तीर्थों की यात्रायें की। सभी धर्मों के लोगों को अपना शिष्य बनाया। उन्होंने कहा कि श्री गुरु नानक देव जी ने हिन्दू धर्म और इस्लाम, दोनों की मूल एवं सर्वोत्तम शिक्षाओें को मिश्रित करके एक नये धर्म की स्थापना की। इसके आधार प्रेम और समानता थे। यही बाद में सिख धर्म कहलाया। डॉ. गोगी ने कहा कि श्री गुरु जी ने भारत में अपने ज्ञान की ज्योति जलाने के बाद उन्होंने मक्का मदीना की भी यात्रा की और वहां के निवासी भी उनसे अत्यन्त प्रभावित हुए। उन्होंने कहा कि 25 वर्ष के भ्रमण के पश्चात श्री गुरुनानक देव जी कर्तारपुर में बस गये और वहीं रहकर उपदेश देने लगे। उन्होंने कहा कि उनकी वाणी आज भी गुरू गंरथ साहिब जी में संगृहीत है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
डॉ. गोगी ने राज्य व देश के युवाओं का आह्वान करते हुए कहा कि आज हम सबको श्री गुरु नानक देव जी के बताये हुए मार्ग में चलने की आवश्यकता है। इस अवसर पर मुख्य रूप से गुरुद्वारा सिंह सभा के प्रधान गुरूबक्श सिंह राजन, गुरुद्वारा सिंह सभा के महासचिव गुलजार सिंह, देवेन्द्र भसीन, सेवा सिंह मठारू, अमनदीप रंधावा, मंजीत सिंह, रंजीत सिंह, अमनदीप सिंह, राजेन्द्र सिंह राजा आदि उपस्थित थे।

Bhanu Prakash
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भानु बंगवाल
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।