साल का अंतिम सूर्यग्रहण आज, बंद रहेंगे मंदिरों के कपाट, इन छह राशि वालों को रहना होगा सतर्क

ज्योतिष शास्त्र के जानकारों के मुताबिक यह सूर्य ग्रहण दोपहर 2 बजकर 28 मिनट से शुरू होगा, जबकि इसका समापन सूर्यास्त के साथ होगा। बता दें कि यह आंशिक सूर्य ग्रहण है। इसे उत्तर भारत में स्पष्ट तौर पर देखा जा सकेगा। ऐसे में इस सूर्य ग्रहण से संबंधित नियमों का पालन करना भी अनिवार्य होगा। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, इस सर्य ग्रहण के का असर 6 राशियों पर सबसे अधिक होगा। ऐसे इन राशियों के जातकों को खास सावधानी बरतनी होगी। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
मेष राशि – करियर में बदलाव हो सकता है। वैवाहिक जीवन में कष्टों का सामना करना पड़ सकता है. शिव जी की पूजा के साथ-साथ सफेद वस्तुओं का दान करना शुभ रहेगा।
मिथुन राशि- संतान से कष्ट हो सकता है. सेहत को लेकर विशेष सावधान रहना होगा। ऐसे में सूर्य ग्रहण के दौरान श्रीकृष्ण के मंत्रों का जाप करना शुभ होगा। साथ ही काली वस्तुओं का दान करना अच्छा रहेगा।
कन्या राशि- आर्थिक परेशानियों के गुजरना पड़ सकता है। गाड़ी चलाते वक्त सावधान रहना होगा। चोट लगने की आशंका है। भोलेनाथ का मंत्रों का जाप करना शुभ रहेगा।
वृश्चिक राशि- नौकरी में बाधा उत्पन्न हो सकती है। संभव है कि स्थान परिवर्तन का भी योग बन जाए। रिश्तों को लेकर खास सतर्क रहना होगा। श्री राम के मंत्रों का जाप करना अच्छा रहेगा।
मीन राशि- दांपत्य जीवन में कष्टों का सामना करना पड़ सकता है। दुर्घटना और वाद-विवाद से बचकर रहना होगा। ग्रहण के दौरान भगवान विष्णु की उपासना करना शुभ रहेगा।
कुंभ राशि- सेहत को लेकर खास सावधान रहना होगा. पेट से जुड़ी समस्या परेशान कर सकती है। अनावश्यक खर्च बढ़ सकता है. ग्रहण काल के दौरान श्रीकृष्ण के मंत्रों का जाप करना शुभ रहेगा। वस्त्रों का दान करना शुभ रहेगा। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
ग्रहण के दौरान नहीं करें भोजन
इस सूर्यग्रहण के कारण दीपावली के बाद आने वाले त्योहार की तिथियां आगे बढ़ गई हैं। हिंदू धर्म की मान्यताओं के अनुसार, ग्रहण के दौरान भोजन नहीं करना चाहिए। धार्मिक पुराणों के उल्लेख अनुसार माना जाता है कि ग्रहण काल के दौरान जो व्यक्ति जितना अधिक अनाज खाता है, उसे उतने वर्षों तक नरक की यातनाएं झेलनी पड़ती हैं। इसके अलावा ऐसा भी उल्लेख पाया गया है कि सूर्य ग्रहण या चंद्र ग्रहण के दौरान खाना खाने से व्यक्ति पेट के रोगों से पीड़ित होता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
इस बार भारत में भी दिखेगा सूर्यग्रहण
देश के खगोल वैज्ञानिकों के अनुसार दिवाली के बाद लगने वाला सूर्य ग्रहण देश के उत्तरी और पश्चिमी भागों में आसानी के साथ देखा जा सकेगा, जबकि पूर्वी भागों में यह ग्रहण नहीं दिखाई देगा। क्योंकि यहां पर सूर्यास्त जल्दी हो जाएगा। भारत में ग्रहण की शुरुआत शाम के 4 बजे के बाद ही होगी। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
सूर्य ग्रहण और ज्योतिषीय संयोग
इस वर्ष दिवाली के अगले दिन सूर्य ग्रहण का योग और ग्रहों का योग 1300 सालों बाद बना रहा है। ग्रहण के समय चार ग्रह खुद की राशि में मौजूद रहेंगे। जिसमें बुध,गुरु, शनि और शुक्र सभी चारों ग्रह अपनी-अपनी राशि में मौजूद रहेंगे। शनि मकर राशि में, गुरु अपनी मीन राशि में,बुध कन्या राशि में और शुक्र तुला राशि में रहेंगे। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
सूर्य ग्रहण का सूतक काल
भारत में आंशिक सूर्य ग्रहण लगने के कारण इसका सूतक काल मान्य होगा। धार्मिक नजरिए से सूतक काल को शुभ नहीं माना जाता है। सूतक में पूजा-पाठ और शुभ काम वर्जित होते हैं। हिंदू पंचांग की गणना के अनुसार 25 अक्तूबर को सूर्य ग्रहण शाम चार बजे के आसपास शुरू हो जाएगा। सूर्य ग्रहण लगने पर सूतक काल ग्रहण के शुरू होने से 12 घंटे पहले लग जाता है। यह ग्रहण करीब डेढ़ घंटे तक चलेगा। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
बंद रहेंगे मंदिरों के कपाट
सूर्य ग्रहण के दौरान उत्तराखंड में चार धाम मंदिर के मंदिर बंद रहेंगे। ग्रहण से 12 घंटे पहले सूतक प्रारंभ हो जायेगा। इसलिए प्रात: 4 बजकर 26 मिनट पर ग्रहण से ठीक पहले चार धाम मंदिर बंद हो जायेंगे। 25 अक्टूबर शाम 5 बजकर 32 मिनट तक ग्रहण काल रहेगा। इसलिए ग्रहणकाल तक चारों धाम सहित छोटे बड़े सभी मंदिर बंद रहेंगे। उन्होने कहा कि ग्रहण समाप्ति पश्चात मंदिरों में साफ सफाई कार्य होगा। इसके बाद शाम को अभिषेक तथा शयन पूजा और आरती संपन्न होंगी। इस दौरान श्रद्धालुओं को दर्शनों की इजाजत नहीं होगी। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
देश में यहां दिखेगा सूर्य ग्रहण
दिल्ली, राजस्थान, पश्चिमी मध्य प्रदेश, गुजरात, पंजाब, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, जम्मू, श्रीनगर, लेह और लद्दाख।
इन हिस्सों में कुछ समय के लिए दिखेगा सूर्य ग्रहण
दक्षिण भारत के हिस्से जैसे तमिलनाडु, कर्नाटक, मुंबई, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना, ओडिशा, बिहार, छत्तीसगढ़, झारखंड और बंगाल।
देश के इन हिस्सों में नहीं दिखाई देगा सूर्य ग्रहण
देश के पूर्वी भागों में असम,अरुणाचल प्रदेश, मणिपुर और नागालैंड।
क्या न करें
ग्रहण के दौरान कभी भी कोई शुभ काम या देवी-देवताओं की पूजा नहीं करनी चाहिए।
ग्रहण के दौरान न ही भोजन पकाना चाहिए और न ही कुछ खाना-पीना चाहिए।
ग्रहण के दौरान गर्भवती महिलाओं का ग्रहण नहीं देखना चाहिए और न ही घर से बाहर जाना चाहिए।
ग्रहण के दौरान तुलसी समेत अन्य पेड़-पौधों नहीं छूना चाहिए। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
क्या करें
ग्रहण शुरू होने से पहले यानी सूतक काल प्रभावी होने पर पहले से ही खाने-पीने की चीजों में पहले से तोड़े गए तुलसी के पत्ते को डालकर रखना चाहिए।
ग्रहण के दौरान अपने इष्ट देवी-देवताओं के नाम का स्मरण करना चाहिए।
ग्रहण के दौरान इसके असर को कम करने के लिए मंत्रों का जाप करना चाहिए।
ग्रहण खत्म होने पर पूरे घर में गंगाजल का छिड़काव करना चाहिए।

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भानु बंगवाल
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।