पौड़ी में सीएम ने की विकास कार्यों की समीक्षा, दून में किया शिलान्यास
मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने आज अपने जनपद भ्रमण कार्यक्रम के तहत विकास भवन सभागार पौड़ी में अधिकारियों के साथ जनपद के विकास कार्यो की समीक्षा बैठक ली। उन्होने सरकारी योजनाओं से जनमानस को अधिकाधिक लाभ दिलाने हेतु मैकेनिजम बनाने के निर्देश दिये। साथ ही कोविड के दौरान कार्यो की भरपाई हेतु विकास कार्यो में तेजी के निर्देश दिये। उन्होने कहा कि शीघ्र ही बहुउद्देशीय शिविरों के आयोजन की शुरूआत की जायेगी।
मुख्यमंत्री ने जनपद पौड़ी में जिला योजना के तहत स्वरोजगार के क्षेत्र में किये जा रहे विकास कार्यो को बेहतर बताया। जबकि राज्य योजना, केन्द्र पोषित में और सुधार लाने के लिए मंडलायुक्त रविनाथ रमन एवं जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल को मानीटरिंग करने के निर्देश दिये। क्यूआरटी में 75 प्रतिशत समाधान को अच्छा कार्य बताया। उन्होने समूहों के लिए निर्धारित मानक बनाने को कहा, जिसके आधार पर समूहों के उत्पादों का आकलन कर, उनकी कार्य प्रगति की समीक्षा की जा सकें।
उद्यान विभाग के समीक्षा के दौरान मौनपालन कार्य को बढ़ाने के निर्देश दिये। कहा कि मधु न्याय पंचायतों को हब बनाने की परिकल्पना है, ताकि खरीददार वहीं पर मिल सके। मुख्यमंत्री सौर स्वरोजगार योजना बहु लाभदायक योजना है। इसमें लोगों की भागीदारी बढ़ने के लिए पंचायती राज विभाग को अपनी भूमिका निभाने के निर्देश दिये। जनपद में स्थापित पिरूल प्लान्ट की जानकारी लेते हुए कहा कि पिरूल की योजना से गरीब वर्ग के लोगों को आय प्राप्ति के अवसर देता है।
कृषि विभाग को जानवरों से फसलों की सुरक्षा हेतु घेरबाड कार्य को बेहतर बताया तथा और अधिक बढ़ाने के निर्देश दिये। ताकि लोगों की फसलों की सुरक्षा के साथ साथ क्षेत्र में पैदावार को बढा़वा मिल सकें। उन्होने पशुपालन विभाग द्वारा की जा रही कड़कनाथ पाॅट्री पालन एवं पशुओं की कृत्रिम गर्भाधान की जानकारी ली। जिस पर जिलाधिकारी ने बताया कि जनपद में तीन लाख के करीब कड़क नाथ मुर्गी का लक्ष्य रखा गया है।
जिलाधिकारी धीराज सिंह गर्ब्याल ने बताया कि जनपद में 20 हेक्टेअर पर कीवी प्लांटेंसन का कार्य चल रहा है, जिसमें पहली बार बजट का प्रोविजन किया गया है तथा हिमाचल, बागेश्वर से प्लांट मंगाये गये हैं। मुख्य विकास अधिकारी आशीष भटगांई ने विकास कार्यो की जानकारी देते हुए बताया कि जिला योजना में 7986.00 लाख अनुमोदित परिव्यय के सापेक्ष क्रमिक व्यय 6369.05 अवमुक्त धनराशि के सापेक्ष ब्यय 88.66 प्रतिशत है।
बीस सूत्रीय कार्यक्रम के तहत जनपद की प्रगति 86.11 के साथ पहला स्थान पर है। उन्होंने कहा कि इस वर्ष प्राइमरी सेक्टर विभाग यथा कृषि, पशुपालन, उद्यानीकरण, पर्यटन, दुग्ध, मत्स्य, मौन पालन, सहकारिता आदि क्षेत्रों पर फोकस किया गया, जिसमें अनुमोदित परिव्यय 13.40 करोड़ था। बताया कि 702 पॉलीहाउस को एनआरएलएम एवं आईएलएसपी के समूहों को दिये गये हैं तथा 90 प्रतिशत सब्सिडी दे रहे हैं। जनपद के सभी विकासखंडों में करीब 300 न्यूट्री गार्डन बना रहे है। जिनमें से 105 बनकर तैयार हो गये है, जिनकी रख रखाव महिला समूह आदि किया जा रहा है।
इस अवसर पर उच्च शिक्षा मंत्री डा. धन सिह रावत, विधायक पौड़ी मुकेश सिह कोली, विधायक लैसडोन दिलीप रावत, जिला पंचायत अध्यक्ष शांति देवी, नगर पालिकाध्यक्ष यश्पाल बेनाम, बहुउद्देशीय सहकारिता समिति अध्यक्ष संपत सिह रावत सहित संबंधित अधिकारी उपस्थित थे।
दून में किया शिलान्यास
मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने आईटीडीए, आईटी पार्क देहरादून में स्मार्ट सिटी देहरादून की ओर से आयोजित ‘सदैव दून’ दून इन्टीग्रेटेड कमाण्ड एंड कंट्रोल सेंटर सेवा का शुभारम्भ किया। मुख्यमंत्री ने दून सेंटर ऑफ एक्सीलेंस का शिलान्यास भी किया। इस अवसर पर निदेशक आईटीडीए अमित सिन्हा एवं सीनियर डायरेक्टर एचसी ई रामचन्द्रन के बीच इंक्यूबेशन सेंटर में इन्टरनेट ऑफ थिंक्स (आईओटी ) के एमओयू हस्ताक्षरित किया गया।
मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने देश में स्मार्ट सिटी की एक नई परिकल्पना की शुरूआत की। इसके परिणामस्वरूप देश के 100 शहरों में स्मार्ट सिटी के तहत कार्य हो रहे है। इन शहरों में बेहतर कार्य हो रहे हैं। अन्य शहरों को भी स्मार्ट सिटी बनाने की मांग बढ़ रही है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की स्पष्ट सोच एवं दृढ़ निश्चय के परिणामस्वरूप आज देश हर क्षेत्र में विकास कर रहा है। स्मार्ट सिटी के बहुआयामी परिणाम हैं।
देहरादून की स्मार्ट सिटी में बेहतर कार्य हो रहे हैं। यह अन्य शहरों के लिए भी प्रेरणा का कार्य करेगी। राज्य में पिछले 20 सालों में ट्रेफिक में बहुत तेजी से वृद्धि हुई है। समय के अनुसार आधुनिक तकनीक का प्रयोग बहुत जरूरी है। तकनीक के माध्यम से व्यवस्थाओं को ठीक करने एवं जनता से जुड़ी समस्याओं के निवारण में स्मार्ट सिटी का मॉडल बहुत कारगर साबित होगा। स्मार्ट सिटी के सेंटर से तमाम समस्याओं को नियंत्रित करने में सुविधा होगी।
सचिव शहरी विकास एवं आवास भारत सरकार श्री दुर्गा शंकर मिश्रा ने कहा कि दून इन्टीग्रेटेड कमाण्ड एंड कंट्रोल सेंटर की सेवा यहां के नागरिकों के जीवन में बहुत सुधार लायेगी। उन्होंने कहा कि देहरादून में इंक्यूबेशन सेंटर की शुरूआत भी हो रही है, यह एक महत्वपूर्ण कदम है। इस सेंटर के माध्यम से युवाओं में सृजनात्मकता का विकास होगा। देहरादून का पिछले साल स्मार्ट सिटी में 24वां स्थान था। आज देहरादून 9वें स्थान पर है, जबकि स्मार्ट सिटी के अन्दर तीसरे राउंड के शहरों में देहरादून का प्रथम स्थान है। स्वच्छ भारत मिशन के तहत भी उत्तराखण्ड राज्य में अच्छी प्रगति हुई है। स्मार्ट सिटी का मुख्य उद्देश्य है सुविधाओं का बेहतर तरीके से इस्तेमाल हो। जन सुविधा के दृष्टिगत अभिनव प्रयास होने जरूरी हैं।
सीईओ स्मार्ट सिटी/जिलाधिकारी देहरादून डॉ. आशीष कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि दून इन्टीग्रेटेड कमांड एंड कंट्रोल सेंटर सेवा को आधुनिक तकनीक के इस्तेमाल के साथ विस्तारित किया जा रहा है। जन सुविधाओं एवं जागरूकता की दृष्टि से अनेक सुविधाएं इस सेवा के माध्यम से दी जा रही हैं।
इस अवसर पर उच्च शिक्षा एवं सहकारिता राज्य मंत्री डॉ. धन सिंह रावत, डीजीपी अशोक कुमार, सचिव आरके सुधांशु, शैलेश बगोली, एडीजी अभिनव कुमार, निदेशक शहरी विकास विनोद कुमार सुमन आदि उपस्थित थे।