उत्तराखंड कांग्रेस का आरोप, उच्च शिक्षा में भी की गई मनमानी भर्तियां, सभी की हो जांचः करन माहरा

उन्होंने कहा कि ओपन यूनिवर्सिटी में 56 नियमित नियुक्तियां की गई हैं और कुछ भर्तियां आउटसोर्स के माध्यम से की गई है। इसमें वित्त सचिव ने आपत्ति जताते हुए इन्हें नियम विरुद्ध बताया था। उन्होंने कहा कि वित्त सचिव ने उच्च शिक्षा सचिव को पत्र लिखकर कार्रवाई करने के लिए कहा था। क्योंकि ये पद स्वीकृत नही थे। ना ही इनकी वित्तीय स्वीकृत ही थी। माहरा ने कहा कि बित्तीय स्वीकृती एवं पद सृजन के यह नियुक्तियां की गई थी मनमाने ढंग से की गई इन नियुक्तियों पर आज तक सरकार ने क्या कार्रवाई की, किसी को कुछ पता नहीं है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री के चहेते गिरजाशंकर जोशी की ओपन युनिवर्सिटी में नियुक्ति पहले से ही विवादों क घेरे में रही है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
माहरा ने कहा कि वहीं श्रीदेव सुमन विश्वविद्यालय के ऋषिकेश परिसर मैं 65 पदों पर समायोजन के माध्यम से नियम विरुद्ध नियुक्तियां की गई हैं। जिसका प्रकरण भी हाईकोर्ट में लंबित है। उन्होंने कहा कि श्रीदेव सुमन विश्वविद्यालय ऋषिकेश परिसर के लिए पूरे प्रदेश के राजकीय डिग्री कॉलेजों से आवेदन मांगे गए थे। इसमें चयन प्रक्रिया इंटरव्यू एवं वरिष्ठता के आधार पर होना था, लेकिन अंतिम समय में वरिष्ठता सूची को दरकिनार कर दिया गया एवं चहेतों को लाभ पहुंचाने के लिए सीआर का मानक जोड़ा गया। ताकि इनके चहेतों का समायोजन हो सके। उन्होंने कहा कि जो पात्र थे उन्हें दरकिनार किया गया। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
करन माहरा ने कहा कि तकनीकी विश्वविद्यालय और आयुर्वेदिक विश्वविद्यालय में भी भारी मात्रा में नियम विरूद्ध चहेतों की नियुक्तियां की गई है। उन्होंने कहा कि प्रदेशभर में जो भी नियम विरुद्ध नियुक्तियां की गई हैं उनकी जॉंच की जाय। उक्त चारों विश्वविद्यालयों में नियम विरुद्ध की गई सभी नियुक्तियां एवं समायोजन निश्चित तौर पर एक बड़े घोटाले की ओर इशारा कर रही हैं। इसकी निष्पक्ष और उच्च स्तरीय जांच होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि यह नियुक्तियां भी राज्य अधीनस्थ सेवा चयन आयोग में हुए भर्ती घोटाले की तरह ही प्रतीत होती हैं। उन्होंने जोर देकर कहा कि इन सब नियुक्तियों में भी कार्रवाई आवश्यक है। ताकि दूध का दूध पानी का पानी हो सके। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
ये है प्रकरण
गौरतलब है कि उत्तराखंड में उत्तराखंड अधीनस्थ चयन सेवा आयोग की पिछले साल हुई स्नातक स्तर की परीक्षा में स्नातक स्तर की परीक्षा में गड़बड़ी करने वाले छह युवकों को हाल ही में उत्तराखंड पुलिस की स्पेशल टास्क फोर्स ने गिरफ्तार किया। ये गिरफ्तारी अलग-अलग जगहों से की गई है। इस मामले में एक आरोपी से 37.10 लाख रूपये कैश बरामद हुआ। जो उसके द्वारा विभिन्न छात्रों से लिया गया था। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश के बाद डीजीपी अशोक कुमार ने भर्ती परीक्षा में हुई गड़बड़ी को लेकर जांच एसटीएफ को सौंपी थी। इस मामले में बेरोजगार संघ के प्रतिनिधिमंडल की ओर से सीएम को शिकायत की गई थी। उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग की ओर से चार और पांच दिसंबर 2021 को आयोजित स्नातक स्तर की परीक्षा में हुई थी। इसमें अनियमितता के संबंध में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी को ज्ञापन सौंप कर युवाओं ने कार्रवाई की मांग की थी। इस मामले में अब तक कुल 30 लोग गिरफ्तार किए जा चुके हैं। इसमें बीजेपी नेता भी शामिल है, जिसे पार्टी ने छह साल के लिए निष्कासित कर दिया है। इसके बाद अब हर दिन किसी ना किसी विभाग में भर्ती घोटाला उजागर हो रहा है। इनमें विधानसभा में भी बैकडोर से नियुक्ति देने का मामला इन दिनों उत्तराखंड में चर्चा का विषय है।

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भानु बंगवाल
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।