चारधाम यात्रा पर हाईकोर्ट ने रोक को हटाया, यात्रियों की संख्या निर्धारित, रखी ये शर्त, सरकार ने की तैयारी

न्यायाधीश न्यायमूर्ति आरएस चौहान व न्यायमूर्ति आलोक कुमार वर्मा की खंडपीठ में सरकार को ओर से यात्रा पर लगी रोक हटाने को दाखिल प्रार्थना पत्र पर सुनवाई हुई। महाधिवक्ता एसएन बाबुलकर, मुख्य स्थाई अधिवक्ता सीएस रावत ने सरकार का पक्ष रखते हुए स्थानीय लोगों की आजीविका, कोविड नियंत्रण में होने, स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार, एसओपी का कड़ाई से पालन आदि के आधार पर रोक हटाने की मांग की। कोर्ट ने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की रिपोर्ट का भी जिक्र किया। महाधिवक्ता का कहना था कि चारधाम यात्रा का अर्निंग पीरियड है।
गौरतलब है कि कोविड के मामलों में बढ़ोतरी, स्वास्थ्य सुविधाओं में कमी व अन्य अव्यवस्थाओं से संबंधित जनहित याचिकाओं पर सुनवाई करते हुए हाई कोर्ट ने जून में चारधाम यात्रा पर अग्रिम आदेशों तक रोक लगा दी थी। इस आदेश के खिलाफ प्रदेश सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में विशेष अनुमति याचिका दाखिल की थी, जिस पर सुनवाई नहीं हो सकी थी।
हाल ही में महाधिवक्ता एसएन बाबुलकर व सीएससी चंद्रशेखर रावत ने मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति आरएस चौहान की अध्यक्षता वाली खंडपीठ से मौखिक रूप से यात्रा पर लगी रोक हटाने का आग्रह किया तो सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी विचाराधीन होने का हवाला देते हुए कोर्ट ने विचार करने से इन्कार कर दिया था। इसके बाद सरकार ने सुप्रीम कोर्ट से एसएलपी वापस ले ली थी। पिछले दिनों हाई कोर्ट को सरकार ने इस बारे में जानकारी दी तो कोर्ट ने 15-16 सितंबर की तिथि नियत कर दी थी। इस मामले में आज सुनवाई के दौरान कोर्ट ने रोक को हटाने का फैसला सुनाया।
याचिककर्ता अनु पंत, रविन्द्र जुगरान, डीके जोशी के अधिवक्ता अभिजय नेगी ने बताया कि चारधाम यात्रा खोले जाने पर सभी पक्षकारों की सहमति है। अगर सरकार स्वास्थ्य ढांचे से सम्बंधित चाक-चौबन्द तैयारियां पहले ही उच्च न्यायालय को अवगत करा देती तो यात्रा पर रोक की नौबत नहीं आती। उम्मीद करते हैं कि सरकार पुख्ता स्वास्थ्य व्यवस्था और सफाई व्यवस्था के साथ यात्रा को जारी रख पाएगी।
देवस्थानम बोर्ड यात्रा को तैयार
गढ़वाल आयुक्त व उत्तराखंड चारधाम देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी रविनाथ रमन के मुताबिक, यात्रा जल्द शुरू कर दी जाएगी। देवस्थानम बोर्ड ने पहले ही यात्रा तैयारियां की हुई हैं। चारों धामों में कोरोना बचाव मानकों का पालन करते हुए निरंतर पूजा अर्चना चल रही है। उच्च न्यायालय के फैसले के बाद देवस्थानम बोर्ड नये सिरे से यात्रा तैयारियों में जुट गया है। उन्होंने बताया कि एसओपी के मुताबिक कोरोना बचाव मानकों एवं सामाजिक दूरी का पालन करते हुए श्रद्धालु चार धामों में दर्शन के लिए पहुंचेगे। पंजीकरण प्रक्रिया को जारी रखा जायेगा। देवस्थानों में आवास, खान-पान, चिकित्सा-स्वास्थ्य, स्वच्छ पेयजल, स्वच्छता पर फोकस रहेगा। देवस्थानम बोर्ड के मीडिया प्रभारी डा. हरीश गौड़ के मुताबिक चारधाम यात्रा के संबंध में अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी बीडी सिंह ने बदरीनाथ धाम में चारधाम यात्रा तैयारियों की समीक्षा की। उधर, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने अपने संदेश में नैनीताल होईकोर्ट के चारधाम यात्रा से रोक हटाने के फैसले का स्वागत किया। पर्यटन, धर्मस्व मंत्री सतपाल महाराज ने कहा कि जल्द चारधाम यात्रा शुरू होने जा रही है। पर्यटन सचिव ने कहा कि न्यायालय के फैसले के बाद अब सरकार के दिशा-निर्देश पर चारधाम यात्रा अतिशीघ्र चारधाम यात्रा शुरू हो जाएगी।
यात्रा को लेकर मुख्य सचिव ने दिए निर्देश
मुख्य सचिव डॉ. एसएस सन्धु की अध्यक्षता में चारधाम यात्रा के सुरक्षित, व्यवस्थित और कुशल संचालन के सम्बन्ध में विभिन्न विभागों के अधिकारियों के साथ सचिवालय सभागार में बैठक आयोजित की गयी। साथ ही जिलाधिकारी चमोली, रूद्रप्रयाग, उत्तरकाशी और पौड़ी को भी विभिन्न व्यवस्थाओं के संपादन के संबंध में महत्वपूर्ण दिशा-निर्देश दिये।
मुख्य सचिव ने सम्बन्धित जिलाधिकारियों को चारधाम यात्रा रूट पर सड़क सुरक्षा, साफ-सफाई, क्राउड मैनेजमेंट, यातायात व्यवस्था, टैस्टिंग तथा कोविड-19 के नियमों का अनुपालन करवाते हुए विभिन्न व्यवस्थाओं को संपादित करने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि यात्रा रूट के संवेदनशील क्षेत्रों में जहाँ पर भी सड़क सुधारीकरण के कार्य किये जाने हैं उनको लोक निर्माण विभाग, राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधीकरण और सड़क सीमा संगठन से युद्धस्तर पर तत्काल पूरा करें। साथ ही जिन पैदल मार्ग से लोग यात्रा करते हैं उनमें भी मार्ग साफ-सुथरा और सुरक्षित बना रहे तथा उनमें भी पेयजल, शौचालय इत्यादि की समुचित व्यवस्था हो।
उन्होंने यात्रा रूट पर श्रद्धालुओं के लिये पर्याप्त शौचालय और उसमें पानी, साफ-सफाई इत्यादि का एक बार अवलोकन करते हुए उसमें तदनुसार सुधार करने के जिलाधिकारियों को निर्देश दिये। मुख्य सचिव ने सम्बन्धित जिलाधिकारियों को चारधामों में आने वाले श्रद्धालुओं की टेस्टिंग करवाने, कोविड-19 के एस.ओ.पी. का अनुपालन, अच्छे श्रद्धालु के व्यवहार, आपात स्थिति में कन्ट्रोल रूम के संपर्क, सोशल डिस्टेंसिंग इत्यादि से संबंधित सूचनाओं को अनाउंसमेंट के माध्यम से प्रसारित करने के भी निर्देश दिये।
उन्होंने यात्रा रूट पर आवश्यकतानुसार चिकित्सकों की तैनाती करने, आपात स्थिति में स्वास्थ्य सुविधा उपलब्ध करवाने, वाहनों की फिटनेस, लोगों के पंजीकरण, ऑनलाइन ही लोगों को व्हाट्सएप और मैसेज के माध्यम से जरूरी सूचना प्रेषित करने, खानपान की रेट लिस्ट, लोगों को महत्वपूर्ण सूचना प्रदान करने हेतु मुख्य-मुख्य स्थलों, चौराहों, स्टे स्थलों, दुकानों में बोर्ड पर प्रदर्शित करने के सम्बन्धित अधिकारियों को निर्देश दिये। उन्होंने स्वास्थ्य विभाग को विभिन्न रूट पर आवश्यकतानुसार चिकित्सकों-एम्बुलेंस की व्यवस्था करने, पुलिस विभाग को रूट पर सुरक्षा, यातायात और क्राउड मैनेजमेंट, विद्युत विभाग को चारधाम में निर्बाध विद्युत आपूर्ति बनाये रखने, जल संस्थान और पेयजल निगम को रूट पर पेयजल की व्यवस्था सुचारू रखने के निर्देश दिये।
इसके अतिरिक्त उन्होंने बाहर से आने वाले पर्यटकों के पंजीकरण से लेकर कमर्शियल वाहनों के ग्रीन कार्ड जारी करने इत्यादि सभी कार्य व्यवस्थित तरीके से पूर्ण करने के अधिकारियों को निर्देश दिये। इस दौरान बैठक में सचिव अमित नेगी, दिलीप जावलकर, अरविंद सिंह ह्यांकी, एस.ए. मुरूगेशन, रंजीत सिन्हा, आयुक्त गढ़वाल मण्डल रविनाथ रमन, प्रभारी सचिव विनोद कुमार सुमन, अपर सचिव वाई.के. पंत, उप महानिरीक्षक पुलिस नीरू गर्ग सहित संबंधित अधिकारी उपस्थित थे तथा उत्तरकाशी, रुद्रप्रयाग, चमोली के जिलाधिकारी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से उपस्थित थे।
Bhanu Bangwal
लोकसाक्ष्य पोर्टल पाठकों के सहयोग से चलाया जा रहा है। इसमें लेख, रचनाएं आमंत्रित हैं। शर्त है कि आपकी भेजी सामग्री पहले किसी सोशल मीडिया में न लगी हो। आप विज्ञापन व अन्य आर्थिक सहयोग भी कर सकते हैं।
वाट्सएप नंबर-9412055165
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।