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December 23, 2024

मौसम ने दिखाए नखरे, देशभर में सर्दी के लिए इंतजार, पहाड़ों में इसलिए धुंध, जानिए देहरादून सहित उत्तराखंड का मौसम

इस बार मानसून की बारिश जुलाई अगस्त से ज्यादा सितंबर माह में हुई। वहीं, उत्तराखंड में तो अक्टूबर माह सूखा चला गया। नवंबर माह में भी मौसम के नखरे साफ नजर आ रहे हैं। जब सर्दी बढ़ने लगती है, इस बार उत्तराखंड के मैदानी इलाकों में दिन काफी गर्म हो रहे हैं। सुबह, शाम और रात को गुलाबी सर्दी पड़ रही है। यूपी, दिल्ली एनसीआर सहित अन्य मैदानी इलाकों में तो फिलहाल रात को भी ज्यादा राहत नहीं है। दिल्ली समेत पहाड़ी इलाकों तक में तापमान सामान्य से तीन से चार डिग्री अधिक बना हुआ है। यही नहीं, पूर्वानुमान के अनुसार आने वाले एक हफ्ते तक मौसम में बड़े फेरबदल के संकेत नहीं हैं। यानी अभी ठंड के लिए और इंतजार करना होगा। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

पहाड़ों में धुंध
हालांकि, उत्तराखंड के पर्वतीय इलाकों में सर्दी तो शुरू हो चुकी है, लेकिन बारिश और बर्फबारी नहीं होने से लोग भी बेचैन हैं। पहाड़ों में धुंध छा रही है। पहाड़ों में धुंध पड़ने की वजह हवा में मौजूद जल वाष्प का संघनित होना है। जब हवा पौधों के संपर्क में आती है, तो हवा में मौजूद पानी छोटी-छोटी बूंदों के रूप में पत्तों पर जमा हो जाता है। इसे ओस कहते हैं। जब हवा में मौजूद जल वाष्प संघनित होकर धुएं के रूप में हवा में तैरता रहता है, तो इसे धुंध कहते हैं। जब धुंध गहरी हो जाती है, तो इसे कोहरा या फ़ॉग कहते हैं। फिलहाल उत्तराखंड के पर्वतीय जिलों में ऐसी ही स्थिति बनी हुई है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

दिल्ली में सामान्य से अधिक तापमान
मौसम विभाग के अनुसार, दिल्ली में अधिकतम तापमान रविवार को भी 31.6 डिग्री रहा। यह सामान्य से दो डिग्री अधिक है। वहीं न्यूनतम तापमान 18.4 डिग्री रहा। यह सामान्य से चार डिग्री अधिक रहा। कुछ इलाकों में तो न्यूनतम तापमान 20 डिग्री से भी अधिक है। इनमें गाजियाबाद में 20.2 डिग्री, नजफगढ़ में 21.1 डिग्री, नोएडा में 20 डिग्री, पीतमपुरा में सबसे अधिक 23.2 डिग्री बना हुआ है। ऐसे में मध्यम दर्जे का कोहरा और स्मॉग भी सुबह और शाम को देखा जा रहा है। 12 से 16 नवंबर तक भी अधिकतम तापमान 32 से 33 डिग्री और न्यूनतम तापमान 17 से 18 डिग्री रह सकता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

इसलिए नहीं पड़ रही है सर्दी
विशेषज्ञों के अनुसार इस समय पूरे उत्तर भारत में ही सर्दियां शुरू नहीं हुई हैं। सर्दी की ठंडक के लिए आम तौर पर पहाड़ों पर बर्फबारी और वेस्टर्न डिस्टरबेंस की जरूरत होती है। इस समय पीर पंजाल, काराकोरम, हिंदुकुश, शिवालिक और धौलाधार जैसे ऊंचे पर्वतीय इलाकों में ताजा बर्फ की चादर बिछनी शुरू हो जाती है। इस बार बर्फ की यह परत काफी कमजोर है। इन इलाकों में वेस्टर्न डिस्टरबेंस बर्फबारी करवाते हैं और यहां से आने वाली ठंडी हवाएं उत्तर भारत में सर्दी बढ़ाती हैं, लेकिन इस सीजन में अब तक वेस्टर्न डिस्टरबेंस काफी कम और कमजोर आए हैं। इससे पर्वतीय स्थल जैसे श्रीनगर, पहलगाम, गुलमर्ग और लेह में भी तापमान सामान्य से अधिक हैं। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

इसलिए नहीं गिर रहा है तापमान
दरअसल, सर्दियों के मौसम में तापमान गिरने के लिए किसी बाहरी सिस्टम की जरूरत पड़ती है। एक ऐसा सिस्टम जो मैदानी इलाकों तक बारिश को ले आए और इसी बहाने तापमान नीचे गिरता है। आमतौर पर ऐसी बारिश सर्दियों के मौसम में वेस्टर्न डिस्टर्बेंस यानी पश्चिमी विक्षोभ की वजह से होती है, लेकिन अक्टूबर के महीने से लेकर अब तक यानी मॉनसून के जाने के बाद एक भी वेस्टर्न डिस्टर्बेंस दिल्ली या उत्तरी भारत के मैदानी इलाकों तक नहीं पहुंच पाया है। अक्टूबर से लेकर नवंबर माह में अब तक उत्तर पश्चिम भारत के मैदानी इलाकों में सामान्य से लगभग 80% कम बारिश हुई है, जिसमें दिल्ली भी शामिल है। किसी भी एक्टिव सिस्टम काअभाव न तो बारिश होने दे रही है और ना ही तापमान में कमी आ रही है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

दिल्ली में मौसम का पूर्वानुमान
मौसम विभाग की मानें तो फिलहाल दिल्ली में अगले दो हफ्तों तक तो बारिश के कोई आसार नहीं हैं। 16 से 21 नवंबर के बीच एक पश्चिमी विक्षोभ बनता हुआ नजर भी आ रहा है। वह भी इतना कमजोर है कि ऊपरी हिमालय के अलावा वह कहीं भी बर्फबारी या बारिश नहीं करवा पाएगा।
एल नीनो और ला नीना की स्थिति
आमतौर पर एल नीनो को विश्व स्तर पर ज्यादा गर्मी के लिए जाना जाता है। अनुमान लगाया जा रहा था कि इस बार सर्दियों में एल नीनो पूरे तरीके से खत्म हो जाएगा और ला नीना का प्रभाव देखने को मिलेगा। इससे सर्दियों ठंड काफी पड़ेगी, लेकिन भारतीय मौसम विभाग का अनुमान है कि अभी एल नीनो पूरी तरह गया नहीं है। वह न्यूट्रल स्थिति में है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

ला नीना के कारण पड़ सकती है कड़ाके की सर्दी
वहीं, ला नीना के सक्रिय होने होने की संभावना इस नवंबर और दिसंबर महीने के बीच है। सवाल ये भी है क्या यह ला नीना क्या वाकई आएगा या फिर आएगा तो उसकी अवधि कितनी होगी। इसको लेकर अलग-अलग मौसम से जुड़े मॉडल के विचार भिन्न हैं। माना जा रहा है कि यदि ला नीना देरी से भी आया तो इसका असर सर्दियों में कड़ाके की ठंड के रूप में दिख सकता है। साथ ही इसका असर अप्रैल माह तक भी रह सकता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

ला नीना का मौसम पर असर
ला नीना के कारण समुद्र की सतह और उसके ऊपर के वायुमंडल ठंडे हो जाते हैं। ला नीना के दौरान, पूर्वी धाराएं समुद्र के पानी को पश्चिम की ओर धकेलती हैं। ला नीना के कारण तापमान में गिरावट आती है और सर्दियों में बारिश भी ज़्यादा होती है। ला नीना के कारण आमतौर पर भारत में मानसून के मौसम के दौरान तीव्र और लंबे समय तक बारिश होती है। ला नीना के कारण उत्तरी भारत में सामान्य से ज़्यादा सर्दी पड़ती है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

ला नीना के बारे में
ला नीना, मध्य और पूर्वी भूमध्यरेखीय प्रशांत महासागर में समुद्र की सतह के तापमान में बड़े पैमाने पर होने वाली गिरावट को कहते हैं। ला नीना, एल नीनो के विपरीत जलवायु प्रभाव पैदा करता है। ला नीना की तीव्रता, अवधि, वर्ष के समय और अन्य जलवायु कारकों के आधार पर इसका प्रभाव अलग-अलग होता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

उत्तराखंड का मौसम
इन दिनों उत्तराखंड में पहाड़ से लेकर मैदान तक मौसम शुष्क है। हालांकि, कुछ जिलों में कभी कभार बादल भी नजर आ रहे हैं। पर्वतीय इलाकों में तो सर्दी ने असर दिखाना शुरू कर दिया है और कोहरा या धुंध भी काफी देखने को मिल रही है। वहीं, देहरादून सहित अन्य मैदानी इलाकों में सुबह, शाम और रात को ही सर्दी का अहसास हो रहा है। दिन अभी काफी गर्म हैं। हालंकि, मैदानी इलाकों में भी इस बार सुबह और शाम व रात को धुंध है। राज्य मौसम विज्ञान केंद्र के मुताबिक, फिलहाल 17 नवंबर तक भी राज्य में बारिश की संभावना नहीं है और मौसम शुष्क रहेगा। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

देहरादून का तापमान
हालांकि, अब देहरादून में तापमान गिरने लगा है। आज सोमवार 11 नवंबर की सुबह करीब साढ़े 10 बजे तक देहरादून का तापमान 23 डिग्री सेल्सियस के करीब था। इसके अधिकतम 26 डिग्री और न्यूनतम 16 डिग्री रहने की उम्मीद है। 12 से 18 नवंबर तक देहरादून का अधिकतम तापमान क्रमशः 26, 26, 25, 26, 25, 24, 24 डिग्री रहने का अनुमान है। इसी तरह न्यूनतम तापमान क्रमशः 15, 14, 14, 14, 14, 13, 13 डिग्री रह सकता है। ऐसे में अब सर्दी बढ़ने लगेगी। वहीं, 11 नवंबर, 14, 15 व 18 नवंबर को देहरादून में कहीं कहीं बादल भी रहेंगे।
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।

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