उत्तराखंड राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद ने मुख्यसचिव को दिया मांग पत्र, लंबित समस्याओं को लेकर बैठक की मांग
उत्तराखंड में राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद ने प्रदेश के कार्मिकों की विभिन्न लंबित समस्याओं को लेकर मुख्य सचिव को पत्र प्रेषित किया। इसमें समस्याओं की तरफ सरकार का ध्यान आकर्षित करते हुए निदान के लिए शीघ्र बैठक बुलाने की मांग की गई।

पत्र के माध्यम से उन्होंने मुख्य सचिव को अवगत कराया कि प्रदेश के कार्मिकों की लम्बित समस्याओं के सामाधान के लिए राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद व प्रदेश के अन्य कार्मिक परिसंघों की ओर से गठित उत्तराखंड कर्मचारी शिक्षक समन्वय समिति के माध्यम से शासन व सरकार के सम्मुख अपना मांग पत्र प्रस्तुत किया गया था। समन्वय समिति की ओर से प्रस्तुत मांगपत्र की कतिपय मांगों पर शासन व सरकार ने सकारात्मक कार्यवाही करते हुए शासनादेश निर्गत किये थे। साथ ही अन्य विभिन्न समस्याओं के समाधान के लिए आश्वासन भी दिया गया था। इसके बाद विधानसभा चुनाव की अधिसूचना जारी होने से अन्य समस्याओं का समाधान नहीं किया जा सका है। ऐसे में राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद समस्याओं के निराकरण के लिए शासन के साथ बैठक आयोजित करने की मांग करती है।
ये हैं मांगे
1-राज्य कार्मिकों के लिए 10, 16, 26 वर्ष की सेवा पर पदोन्नति न होने की दशा में एसीपी के अन्तर्गत पदोन्नति वेतनमान अनुमन्य किया जाय।
2-एसीपी की अनुमन्यता के सम्बन्ध में अति उत्तम के स्थान पर उत्तम सेवा को लागू करने के सम्बन्ध में शासन द्वारा जारी शासनादेश में संशोधन को शासनादेश जारी होने की तिथि से प्रभावी माना गया, जिससे पूर्व में प्रभावित कार्मिको को इसका लाभ नहीं मिल पाया। उक्त के दृष्टिगत संशोधन को 1.1.2017 से प्रभावी माना जाय।
3-पदोन्नति के लिए अर्ह सेवा अवधि में शिथिलीकरण का लाभ दिये जाने को किये गये शासनादेश में मात्र वर्ष 2021-22 की समय सीमा निर्धारित की गयी। शिथिलीकरण का लाभ दिये जाने हेतु वर्ष 2021-22 की समय सीमा को समाप्त करते हुए पूर्व की भांति शिथिलीकरण का लाभ प्रदेश के कार्मिकों को अनुमन्य किया जाय।
4-गोल्डन कार्ड के आधार पर राज्य के कार्मिकों एंव पेशनरों को कैशलैश चिकित्सा अनुमन्य किये जाने के लिए किये गये शासनादेश में की गयी व्यवस्था के अनुसार पंजीकृत दवा की दुकानों से कार्ड के आधार पर कैशलैश दवा दिये जाने एंव पंजीकृत जांच केन्द्रों (पैथोलॉजी लैब) से कैशलैस जांच की जानी है। इस प्राविधान के अन्तर्गत कार्ड धारकों को लाभ नहीं प्राप्त हो रहा है। इस सम्बन्ध में समस्त कार्ड धारकों को इस सुविधा का लाभ देने की मांग की गई।
कार्डधारकों को सुविधा के लिए दिए गए ये सुझाव
-कैशलैश दवा वितरण हेतु दुकानों के पंजीकृत होने तक जन औषधी केन्द्रों, पंजीकृत चिकित्सालयों एंव राजकीय चिकित्सालयों से कार्ड के आधार पर कैशलैश दवाए उपलब्ध करायी जाय।
-इसी प्रकार विभिन्न जांचों हेतु पंजीकरण किये जाने तक राजकीय चिकित्सालयों एंव पंजीकृत चिकित्सालयों में उपलब्ध जांच केन्द्रों (पैथोलॉजी लैब) से कैशलैश जांच की सुविधा अनुमन्य की जाय
5-पूर्व में कार्मिक संगठनों के साथ किये गये समझौतो/दिये गये आश्वासनों के अनुपालन की समीक्षा के लिए बैठक का आयोजन किया जाय।
6-स्थानांन्तरण अधिनियम की विसंगतियांे का निराकरण किया जाय।
7-वेतन विसंगति समिति की रिपोर्ट कार्मिक संगठनों को उपलब्ध करायी जाय।
8-निगम एंव निकाय कर्मियों को राज्य कर्मियों की भांति समस्त लाभ प्रदान किये जाय।
9-विभिन्न विभागों के लम्बित पुर्नगठन एंव सेवा नियमावली के प्रकरणों पर तत्काल कार्यवाही की जाय।
10-तदर्थ रूप से नियुक्त कार्मिकों के विनियमितिकरण से पूर्व की सेवाओं को जोडते हुए सेवा सम्बधी समस्त लाभ अनुमन्य किये जाय।
11-शासनादेश के व्यवस्था के अनुरूप समस्त कार्मिक संगठनों से निर्धारित समय पर जनपद/ मण्डल/विभागाध्यक्ष एंव शासन स्तर पर बैठकों का आयोजन कर लम्बित समस्याओं का निराकरण किया जाय।
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।