सावन का पहला सोमवार आज, शिवालयों में उमड़े श्रद्धालु, जानिए इस बार कब कब रखे जाएंगे व्रत

आज सावन का पहला सोमवार है। उत्तराखंड में शिवालयों में तड़के से ही जल चढ़ाने का सिलसिला आरंभ हो चुका है। कई मंदिरों में कतारें लग रही हैं। इसी तरह की स्थिति पूरे देशभर की है। इस वर्ष सावन का महीना 58 दिनों का है। सावन का महीना और इसमें पड़ने वाले हर एक सोमवार का विशेष महत्व होता है। सावन के महीने में सोमवार का व्रत रखना और शिवजी की विशेष पूजा और अभिषेक करना बहुत ही लाभदायक माना जाता है। इस बार सावन के महीने के बीच में मलमास लग रहा है। ऐसे में मलमास के दौरान व्रत नहीं किए जा सकेंगे। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
इस बार ये है खास
इस बार सावन का महिना 4 जुलाई से आरंभ हो चुका है और ये 31 अगस्त तक चलेगा। इस दौरान 18 जुलाई से 16 अगस्त तक अधिकमास रहेगा। इसी कारण से इस वर्ष सावन का महीना 2 महीने का होगा। सावन के सोमवार के व्रत की शुरुआत आज 10 जुलाई से हो रही है। इसके अलावा 17 जुलाई, 21 अगस्त और 28 अगस्त को सोमवार के व्रत किए जा सकेंगे। यानि इस बार सावन का पहला चरण चार से 17 जुलाई तक है। दूसरा चरण 17 से 31 अगस्त तक होगा। एसे में बीच में पड़ने वाले मलमास के दौरान सोमवार के व्रत नहीं किए जा सकेंगे। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
शिवलिंग पर क्यों करते हैं जलाभिषेक
आज सावन का पहला सोमवार है और शिव मंदिरों में सुबह से ही भारी भीड़ है। शिवलिंग पर शिवभक्त जलाभिषेक करते हुए शिव की कृपा की कामना करते हैं। दरअसल सावन के महीने में ही समुद्र मंथन हुआ था, जिसमें विष का घड़ा निकला था। इस विष के घड़े को न ही देवता लेना चाह रहे थे और न ही दानव। ऐसे में भगवान शिव ने इस विष का पान करके उसे अपने गले में धारण करके सृष्टि को बचाया था। विष के प्रभाव से भगवान शिव के शरीर का ताप बहुत ज्यादा हो गया था। तब शिवजी के शरीर के ताप को कम करने के लिए सभी देवी-देवताओं ने उन पर जल चढ़ाया था। इस कारण से शिवलिंग पर जल चढ़ाने की परंपरा है।
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भानु बंगवाल
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।