ये है राजनीति, ईडी जांच में फंसे पूर्व मंत्री की पुत्रवधु हुई बीजेपी में शामिल, कांग्रेस ने कहा ब्लैकमेलिंग

ये तो इलेक्टोरल बांड घोटाले की परतें खुलने पर साबित हो गया था कि जिन लोगों पर ईडी या अन्य जांच एजेंसी की जांच हुई, या जो ऐसी एजेंसियों की वजह से गिरफ्तार हुए, उन्होंने बीजेपी को करोड़ों का चंदा दिया। या फिर बीजेपी में शामिल हो गए। उत्तराखंड में चंदे का धंधा तो नजर नहीं आया, लेकिन जांच में फंसे लोगों ने बीजेपी का दामन थामा। ये क्रम आज भी जारी है। आज रविवार 21 अप्रैल को पूर्व मंत्री हरक सिंह की पुत्रवधु अनुकृति गुसाईं भाजपा में शामिल हो गईं। इसके साथ ही यूएसनगर की जिला पंचायत अध्यक्ष रेनू गंगवार व सुरेश गंगवार भी भाजपा इन शामिल हो गए। प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट ने इन्हें भाजपा की सदस्यता दिलाई। हालांकि, लोगों का मानना है कि यदि लोकसभा चुनाव में बाजी पलटती है तो ये सभी वापस कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं। अब सबसे बड़ा सवाल ये है कि यदि ये भ्रष्टाचारी हैं तो उनके कारनामे बीजेपी में जाने के बाद कैसे धुल जाएंगे। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
भाजपा ने चुनाव उपरांत भी पार्टी ज्वाइनिंग अभियान जारी रखते हुए पूर्व विधानसभा प्रत्याशी अनुकृति गुसाईं, जिला पंचायत अध्यक्ष एवं कांग्रेस के राष्ट्रीय पदाधिकारी को शामिल किया। इस दौरान बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष ने महेंद्र भट्ट ने घोषणा की कि यह अभियान निकायों एवं पंचायत चुनावों तक भी जारी रहेगा। बीते कुछ समय से पाखरो टाइगर सफारी समेत अन्य मामलों को लेकर ईडी ने पूर्व मंत्री हरक सिंह, पत्नी दीप्ति रावत, पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष लक्ष्मी राणा व अनुकृति गुसाईं से पूछताछ कर चुकी है। 2022 के विधानसभा चुनाव में अनुकृति लैंसडौन विधानसभा में भाजपा के दिलीप रावत से चुनाव हार चुकी है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
ईडी के बढ़ते शिकंजे के बाद बीते मार्च/अप्रैल महीने में पूर्व जिला पंचायत अध्यक्ष लक्ष्मी राणा और अनुकृति ने कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया था। इसके बाद से ईडी ने अभी तक हरक व अन्य से पूछताछ नहीं की। इसके बाद मतदान से कुछ दिन पहले लक्ष्मी राणा व अनुकृति गुसाईं ने भाजपा प्रत्यशियों को जिताने की अपील कर दी थी। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
इसके बाद से यह तय हो गया था कि अनुकृति व लक्ष्मी मतदान के बाद भाजपा में शामिल हो जाएंगी। अनुकृति आज शामिल हो गयी, जबकि लक्ष्मी के भी जल्द शामिल होने की संभावना है। ईडी जांच के दौरान हरक सिंह के आवास से तीन लाख कैश व लॉकर से 45 लाख के जेवरात मिले थे। इधर, हरक सिंह ने लोकसभा चुनाव में कांग्रेस के पक्ष में प्रचार नहीं किया। भाजपा हाईकमान की हरी झंडी के बाद उनका भी भाजपा में जाने का रास्ता खुल जायेगा। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
गौरतलब है कि पूर्व वन मंत्री हरक सिंह से जुड़े मामले की सीबीआई जांच भी हो रही है। सुप्रीम कोर्ट भी कार्बेट पार्क इन टाइगर सफारी को लेकर काटे पेड़ों को लेकर सख्त रुख अपना चुका है। लोकसभा चुनाव की घोषणा होने के बाद कांग्रेस नेतृत्व ने हरक सिंह को उड़ीसा में पार्टी पर्यवेक्षक की अहम जिम्मेदारी दी थी। अनुकृति के विधिवत भाजपा में शामिल होने के बाद कांग्रेस हाईकमान पूर्व हरक सिंह के खिलाफ कोई बड़ा कदम ले सकती है। हरक सिंह रावत अब तक पांच बार दल बदल चुके हैं। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
वहीं, बीजेपी की ओर से जारी प्रेस नोट में कहा गया कि पार्टी मुख्यालय में हुए कार्यक्रम में आज अनुकृति के अतिरिक्त जिला पंचायत अध्यक्ष रेणु गंगवार, पूर्व पंचायत अध्यक्ष एवं कांग्रेस के राष्ट्रीय पदाधिकारी सुरेश गंगवार के साथ उनके सैकड़ों समर्थकों ने भाजपा का दामन थामा। सभी नए सदस्यों का स्वागत करते हुए प्रदेश अध्यक्ष ने जानकारी दी कि पार्टी ज्वाइनिंग का यह महा अभियान अब आगामी निकाय एवं पंचायत चुनावों तक भी जारी रहेगा। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने बताया कि कुछ दिन पहले हमे सभी लोगों से पार्टी में शामिल होने का इच्छा की जानकारी मिली थी। इसपर प्रदेश की ज्वाइनिंग कमेटी द्वारा विस्तृत विचार विमर्श किया गया। तदापुरान्त के बाद ज्वाइनिंग के उत्तराखंड प्रभारी केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर की अनुशंसा के बाद सभी लोगों को शामिल किया जा रहा है । उन्होंने उम्मीद जताई कि सभी नवांगुत लोग मोदी जी के मार्गदर्शन और धामी जी के नेतृत्व में विकसित उत्तराखंड, विकसित भारत के मिशन में जुट जाएंगे। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
इस दौरान अनुकृति गुसाईं ने कहा कि विकसित उत्तराखंड का को सपना हम सबका है उसे पीएम मोदी के नेतृत्व में मुख्यमंत्री धामी जी कर रहे हैं । मुझे विश्वास है कि वोकल फोर लोकल की नीति पर चलकर हमे इस दशक को उत्तराखंड का बनाना है, युवाओं का बनाना है। जिसके लिए हमे मोदी और धामी जी के साथ प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट के नेतृत्व में काम करना है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
बीजेपी के प्रेस नोट के मुताबिक, सुरेश गंगवार ने कहा कि उनके राजनैतिक जीवन की शुरुआत एबीवीपी से हुई है, जो एक तरह से मेरे लिए घर वापिसी है। वह पीएम मोदी की नीतियों और राष्ट्रीय अध्यक्ष जे पी नड्डा की कार्यशैली से प्रभावित होकर यहां आए हैं। अब हम सब मिलकर, गांव गांव में मोदी जी के हाथों को मजबूत करने का काम करेंगे।
इस दौरान बीजेपी के प्रदेश महामंत्री आदित्य कोठारी, धर्मपुर विधायक विनोद चमोली प्रदेश मीडिया प्रभारी मनवीर चौहान, सह मीडिया प्रभारी राजेंद्र नेगी, प्रदेश प्रवक्ता कमलेश रमन, सुनीता विद्यार्थी, अनूप रावत, सुभाष बर्थवाल समेत बड़ी संख्या में पार्टी पदाधिकारी मौजूद रहे। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
हृदय परिवर्तन या ब्लैकमेलिंग
उत्तराखंड कांग्रेस की मुख्य प्रवक्ता गरिमा मेहरा दसौनी ने अनुकृति गोसाई के भाजपा ज्वाइन करने पर प्रतिक्रिया दी है। दसौनी ने कहा कि इसे हृदय परिवर्तन कहेंगे या ब्लैकमेलिंग, ये सब जनता जानती है। उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी बताएं की अनुकृति गोसाई पर जिन मामलों के तहत ईडी और सीबीआई की जांच चल रही है और पूछताछ चल रही थी, क्या अब ये समझा जाए कि वह तत्काल प्रभाव से बंद कर दी गई है। या सभी भ्रष्टाचार के मामले जो भारतीय जनता पार्टी ने पिछले कुछ सालों में गोसाई के परिवार पर लगाए थे, वह सब भारतीय जनता पार्टी की वाशिंग मशीन में जाकर घुल चुके हैं। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
दसौनी ने कहा कि कुछ लोग ऐसे होते हैं जिन पर कभी भरोसा नहीं किया जा सकता है। अनुकृति गोसाई राजनीति को बहुत हल्के में ले रही है। कांग्रेस के द्वारा दिया गया सम्मान शायद उन्हें पच नहीं सका। दसोनी ने कहा कि अनुकृति गोसाई को कांग्रेस ज्वाइन करते ही लैंसडाउन का टिकट थाल में परोस कर दे दिया। कांग्रेस जो देश की सबसे पुरानी पार्टी है और जिसका विधानसभा टिकट लेने के लिए कार्यकर्ताओं में होड़ लगी रहती है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
साथ ही जिसके लिए सालों साल कार्यकर्ता पार्टी को अपना योगदान देते हैं, उसके बाद जाकर कहीं पार्टी का टिकट नसीब होता है। वह गुसाई को पलक झपकते ही नसीब हो गया। (गरिमा के इस कथन पर हमारा स्पष्ट मानना है कि जब एजेंसी की जांच चलती है तो वह खुद को बचाने के लिए ही कोई निर्णय लेता है। यदि कल केंद्र में बीजेपी की सरकार नहीं रहती है तो ये लोग वापसी करेंगे। ऐसे में इनकी मजबूरी को भी समझना होगा।) (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
गरिमा ने कहा कि अनुकृति सम्मान का मतलब नहीं समझ सकी। वह बहुत कमजोर कड़ी निकली। भारतीय जनता पार्टी के उत्पीड़न के सामने उन्होंने हथियार जल्द रख दिए। दसौनी ने कहा की हो सकता है या तो वाकई में अनुकृति का हृदय परिवर्तन हो क्या हो और वह अपने सारे दर्द और छाले जो भाजपा के द्वारा उन्हें और उनके परिवार को दिए गए उन्हें भूलकर भाजपा को आत्मसात करने गई है। या फिर यह कहीं ना कहीं उन सारे आरोपो और ईडी,सीबीआई से पल्ला छुड़ाने के लिए उठाया गया मतलबी कदम दिखता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
दसौनी ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के सत्ता में आने के बाद से राजनीति का स्तर बहुत गिर चुका है और ब्लैकमेल की राजनीति तथा विपक्ष के दमन की राजनीति चरम पर हो रही है जो की बहुत ही चिंतनीय और दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति है।
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Bhanu Prakash
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भानु बंगवाल
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।