सुप्रिया श्रीनेत बोलीं- कांग्रेस का घोषणापत्र देश की आवाज, हमारा सवाल- आम मतदाताओं के बीच इसे कैसे पहुंचाओगे
अखिल भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की सोशल मीडिया चेयरमैन और राष्ट्रीय प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत ने लोकसभा चुनाव के लिए आज देहरादून स्थित उत्तराखंड कांग्रेस मुख्यालय में कांग्रेस का घोषणा पत्र यानि न्याय पत्र जारी किया। इस दौरान उन्होंने कहा कि कांग्रेस का घोषणापत्र देश की आवाज है। वही, हमारा सवाल ये है कि इस घोषणापत्र को आम मतदाताओं तक कैसे पहुंचाओगे। कारण ये है कि मीडिया इसके बिंदुओं पर विस्तार से चर्चा नहीं कर रहा है। कांग्रेस नेता प्रेस वार्ता और सोशल मीडिया के जरिये ही इस घोषणा पत्र की जानकारी दे रहे हैं। यदि आम मतदाता तक इस घोषणापत्र को बूथ लेवल के कार्यकर्ताओं के जरिये नहीं पहुंचाया तो कितना भी बढ़िया घोषणा पत्र बना लो, इसका ज्यादा लाभ नहीं मिलेगा। क्योंकि जनता को भी समझाना होगा कि इसमें क्या खास बात है। क्योंकि घर घर जाने के मामले में कांग्रेस पिछले कई चुनावों से पिछड़ी हुई है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि कांग्रेस का ये घोषणा पत्र कमरे में बैठकर पूंजीपतियों की लिस्ट पर नहीं बना है। यह घोषणा पत्र कुछ विशेषज्ञ या जानकारों से बात करके नहीं बना है। यह घोषणा पत्र इस देश की आवाज है। इसकी जो वेबसाइट है। उसका नाम है-आवाज भारत की। उन्होंने कहा कि 10 साल से देश बहुत सारी परेशानियां झेल रहा है। उन सारी परेशानियों का इस घोषणा पत्र में समाधान है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि यह घोषणा पत्र भारत जोड़ो यात्रा और भारत जोड़ो न्याय यात्रा के दौरान हम इस देश के जिन करोड़ों करोड़ लोगों से मिले, उनकी आशाओं, अपेक्षाओं, आकांक्षाओं और उनके दुख, कष्ट और तकलीफों को भी हमने सुना। यह घोषणापत्र इन सबका प्रतिबिंब है। उन्होंने घोषणा पत्र के पांच प्रमुख बिंदुओं के संबंध में विस्तार से बताया, जो इस प्रकार है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
युवा न्याय
उन्होंने कहा कि इस देश में बेरोजगारी अपने 45 साल की चरम सीमा पर है। इस देश में बेरोजगार जब अपनी नौकरी की बात करता है तो उसको सड़कों पर लाठियों से पीटा जाता है। इस देश में बेरोजगारी का यह आलम है कि हर घंटे दो युवा अपनी जान ले रहे हैं। इसलिए जब हमने युवा न्याय की बात की, तो हमने साफ तौर पर कहा सर्वप्रथम 30 लाख सरकारी रिक्त पद भरे जाएंगे। हर शिक्षित युवा को एक लाख सालाना के हिसाब से अप्रेंटिसशिप मिलेगी। पेपर लीक से युवाओं को कांग्रेस मुक्ति दिलाएगी। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि पेपर लीक होता है और साल 10 साल मेहनत करने वाले बच्चे जिनके मां-बाप एक रोटी कम खाते हैं। ताकि उनका बच्चा पढ़ लिख जाए और जो युवा गाजर मूली की तरह बसों और गाड़ियों में भर भर के परीक्षा देने जाते हैं, इंटरव्यू देने जाते हैं। उन्हें पता चलता है कि व्हाट्सएप पर पेपर लीक हो गया तो उनकी आंखों के आगे अंधेरा छा जाता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि ऐसी स्थिति से पूरी तरह से छुटकारा पाने के लिए हम पेपर लीक के खिलाफ सख्त से सख्त कानून लाएंगे। हमने यह भी फैसला किया है कि हम एक जॉब कैलेंडर बनाएंगे, जिसमें नौकरी की घोषणा से लेकर नियुक्ति पत्र पाने तक की तिथियां अंकित होंगी। जो की पूरी तरह से एक पारदर्शी सिस्टम होगा। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि खास तौर से एक योजना उत्तराखंड के युवाओं के लिए है। सारे देश को पता है कि उत्तराखंड के तमाम युवा इस देश की सेना में अपनी शौर्य और पराक्रम की सेवाएं देते हैं और इस सरकार ने सेना की मनोबल को तोड़ने के लिए उनके शौर्य और पराक्रम का उपहास उड़ाया, जब इन्होंने 4 सालों के लिए ठेके पर अग्नि वीर रखने शुरू कर दिए। अग्निपथ योजना को लेकर हमारी पार्टी का संकल्प है कि हम इस अग्निवीर योजना को पूरी तरह से खत्म कर देंगे। पूर्व की भांति सेना को उसका खोया हुआ गौरव लौटाएंगे। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
नारी न्याय
उन्होंने कहा कि कहा जाता है कि यदि एक महिला शिक्षित होती है तो उसका पूरा परिवार पर शिक्षित हो जाता है। हमारा मानना है कि यदि एक महिला के हाथ में पैसा आएगा तो उसके परिवार की ही तरक्की होगी। इसलिए हम महालक्ष्मी योजना के तहत गरीब परिवार की मुखिया के अकाउंट में ₹100000 सालाना डालेंगे। नई सरकारी नौकरियों में 50% आरक्षण महिलाओं के नाम होगा। महिलाओं को सुरक्षित और संरक्षित माहौल देने के लिए कामकाजी महिलाओं के लिए महिला हॉस्टल का निर्माण किया जाएगा। यह वूमंस हॉस्टल हर जिले में होगा। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि अमूमन यह देखा गया है कि महिला के साथ अपराध तब होता है, जब उसे अपने हक के बारे में पता नहीं होता है। हर महिला पंचायत में एक नारी मैत्री कार्यक्रम के अंतर्गत एक महिला की नियुक्ति की जाएगी, जो महिलाओं को उनके अधिकारों के बारे में जानकारी देने का काम करेगी और उनके कानूनी विकल्पों के बारे में उन्हें बताएगी। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
किसान न्याय
उत्तराखंड की उपज आज पूरे देश और विश्व में जानी जाती है। पिछले 10 सालों में किसानों ने जब-जब अपने हक की बात की तब तब उनके ऊपर बर्बरता की गई। जब वह दिल्ली आना चाहते थे तो किसी तानाशाह ने दिल्ली को अपनी बपौती समझते हुए उनके लिए कीलें तक बिछा दीं। आंदोलन के दौरान 700 किसानों ने अपनी शहादत दे दी। किसान आंदोलन में पर किसी तानाशाह का दिल नहीं पिघला और एमएसपी पर कानून आज तक नहीं बदला। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि हमने अपने न्याय पत्र में वादा किया है कि हम किसानों को एमएसपी की पूर्ण कानूनी गारंटी देंगे। हम किसानों का कर्ज माफ करेंगे। मौजूदा सरकार ने अपने पूंजीपति मित्रों के 16 लाख करोड़ रुपये माफ किए, लेकिन हम किसानों का कर्ज माफ करेंगे। हमने पूर्व में भी किया है। 2009 में 72000 करोड़ रुपए मनमोहन सरकार ने माफ किए हैं। हम खेती के तमाम उपकरणों को जीएसटी मुक्त करेंगे। इससे किसानों के जीवन में खुशहाली आएगी। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
श्रमिक न्याय
मनरेगा और सभी मज़दूरी का न्यूनतम मानदेय बढ़ा कर 400 रुपये प्रतिदिन किया जाएगा। ज़ोमैटो, स्वीगी जैसी कंपनी में काम करने वालों की क़ानून से मिलेगी। सामाजिक सुरक्षा 25 लाख रुपये तक की स्वास्थ्य योजना – जिसमें इलाज, टेस्ट, दवाई सब मिलेगा। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
हिस्सेदारी न्याय
देश के लोगों की वास्तविक स्थिति जानने के लिए आर्थिक और जातिगत जनगणना होगी। जल, जंगल, ज़मीन का क़ानूनी हक़ दिया जाएगा। वन अधिकार क़ानून वाले पट्टों का 1 साल में फ़ैसला लिया जाएगा। वन अधिकार अधिनियम लागू किया जाएगा साथ ही आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र अधिसूचित होंगे (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
पत्रकार वार्ता में उत्तराखंड प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष करन महारा अखिल भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस द्वारा नियुक्त मीडिया प्रभारी डॉक्टर चयनिका उनियाल, वरिष्ठ उपाध्यक्ष (संगठन) मथुरादत्त जोशी, मीडिया के चीफ कोऑर्डिनेटर राजीव महर्षि, मुख्य प्रवक्ता गरिमा मेहरा दसौनी, राजनीतिक एवं मीडिया सलाहकार अमरजीत सिंह, उत्तराखंड सोशल मीडिया अध्यक्ष विकास नेगी, प्रदेश प्रवक्ता शीशपाल सिंह बिष्ट,सुनीता प्रकाश प्रदेश संयोजक सोशल मीडिया विशाल मौर्य उपस्थित रहे।
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भानु बंगवाल
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।