शिव सेना के शिंदे गुट के विधायक का बड़ा बयान, जब भी मातोश्री के दरवाजे खुलेंगे, हम उद्धव ठाकरे के पास जाएंगे
महाराष्ट्र में भले ही उद्धव ठाकरे से बगावत कर विधायकों ने बीजेपी के साथ सरकार का गठन किया हो, लेकिन भविष्य की संभावनाओं को भी बरकरार रखने के प्रयास हो रहे हैं।
महाराष्ट्र में भले ही उद्धव ठाकरे से बगावत कर विधायकों ने बीजेपी के साथ सरकार का गठन किया हो, लेकिन भविष्य की संभावनाओं को भी बरकरार रखने के प्रयास हो रहे हैं। उद्धव से बगावत कर शिंदे गुट के एक विधायक का बयान तो कुछ ऐसा ही है। इस बयान से तो यही अंदाजा लगता है कि भविष्य में बागी विधायक उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिव सेना में वापस लौट सकते हैं। अब जबकि महाराष्ट्र में नई सरकार का शिवसेना बागी एकनाथ शिंदे की अगुआई में गठन हो गया है। विधानसभा में फ्लोर टेस्ट के बाद बीजेपी के साथ मिलकर बनाई गई नई सरकार को मान्यता दे दी गई है। अब मंत्रिमंडल के विस्तार को लेकर सुगबुगाहट जारी है। इधर, बगावत के बाद टीम शिंदे के विधायक संजय राठौड़ ने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने कहा कि जब भी मातोश्री के दरवाजे खुलेंगे, वे (बागी विधायक) जरूर उद्धव ठाकरे के पास जाएंगे।उन्होंने कहा कि सभी विधायकों (शिवसेना बागी) ने सोशल मीडिया के जरिए और न्यूज में भी अपनी भूमिका स्पष्ट की है। शिवसेना (शिंदे गुट) के 40 विधायकों ने अपनी भूमिका रखने के लिए दीपक केसरकर को अपना प्रवक्ता चुना है। अगर उद्धव ठाकरे को आज हमारी भूमिका पसंद नहीं है, तो हो सकता है एक दो महीने में हम उन्हें सही लगे। छह महीने में सही लगे। जब भी मातोश्री के दरवाजे खुलेंगे तो हम उद्धव ठाकरे के पास जरूर जाएंगे।
बता दें कि बीते महीने शिवसेना नेता और महाराष्ट्र कैबिनेट के वरिष्ठ मंत्री एकनाथ शिंदे पार्टी के कई विधायकों को लेकर महाराष्ट्र से सूरत और फिर असम चले गए। जहां सत्ता पलट की पटकथा लिखी गई। सप्ताह भर से अधिक चले सियासी उठापटक के बाद राज्य की तत्तकालीन सरकार गिर गई और बीजेपी से हाथ मिलाकर एकनाथ शिंदे राज्य के नए मुख्यमंत्री बने। वहीं, पूर्व मुख्यमंत्री और बीजेपी नेता देवेंद्र फडणवीस को उपमुख्यमंत्री की कुर्सी मिली।





