ईद की नमाज के बाद जोधपुर में फिर हुआ विवाद, पुलिस ने किया लाठीचार्ज, दो समुदाय के झंडे उतारकर लगाया तिरंगा
पहले रामनवमी, फिर हनुमान जयंती के दिन कई राज्यों में हुए विवाद के बाद अब ईद और परशुराम जयंती पर भी दो समुदाय के लोगों के बीच विवाद खड़ा हो गया है।

जोधपुर में देर रात दो समुदाय के लोग आमने सामने आ गए और उनके बीच झड़प हो गई। जोधपुर के जालौरी गेट चौराहे पर दो गुटों में स्वतंत्रता सेनानी की मूर्ति पर इस्लामिक झंडा फहराने की बात को लेकर विवाद शुरू हुआ, जो बढ़ते-बढ़ते पत्थरबाजी तक पहुंच गया। आज देशभर में बड़ी धूमधाम से ईद मनाई जा रही है। देर रात को जोधपुर में हुई पथराव की इस घटना के बाद इलाके में इंटरनेट सेवा सस्पेंड कर दी गई है।
जानकारी के मुताबिक जोधपुर में सोमवार शाम ईद से पहले जालौरी गेट इलाके में झंडा फहराने को लेकर विवाद हो गया। इसके बाद दो समुदायों के बीच झड़प हो गई। जिसके बाद जोधपुर में इंटरनेट बंद कर दिया गया है और पुलिस सुरक्षा में ईद की नमाज अदा की गई। जोधपुर में तीन दिवसीय परशुराम जयंती उत्सव भी चल रहा है और दोनों समुदायों द्वारा धार्मिक झंडे लगाए गए। जिस वजह से ये विवाद संघर्ष में बदल गया। ये मामला इतना बढ़ा कि भीड़ को तितर-बितर करने के लिए पुलिसकर्मियों को बल प्रयोग करना पड़ा। स्थानीय इलाके में पुलिस चौकी पर भी हमले की भी खबर सामने आ रही है। अभी भी जोधपुर में स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है।
समाचार एजेंसी पीटीआई ने बताया कि मंगलवार तड़के पथराव में कम से कम चार पुलिसकर्मी घायल हो गए। पुलिस नियंत्रण कक्ष के एक अधिकारी ने एजेंसी को बताया कि पथराव में चार पुलिसकर्मी घायल हो गए। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए इलाके में भारी पुलिस बल तैनात किया गया।
मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की। अशोक गहलोत ने एक ट्वीट में कहा कि जोधपुर, मारवाड़ की प्रेम और भाईचारे की परंपरा का सम्मान करते हुए मैं सभी पक्षों से शांति बनाए रखने और कानून व्यवस्था बहाल करने में सहयोग करने की एक मार्मिक अपील करता हूं। गहलोत ने कहा कि उन्होंने प्रशासन को शांति व्यवस्था बनाए रखने के निर्देश दिए हैं।
ऐसे शुरू हुआ दो गुटों के बीच विवाद
दरअसल, जोधपुर में इन दिनों तीन दिवसीय परशुराम जयंती महोत्सव चल रहा है और उसी कड़ी में जोधपुर के जालौरी गेट चौराहे पर स्वर्गीय बालमुकंद की बिस्सा के चौराहे पर भगवा ध्वज फहराए हुए थे, जिसको लेकर प्रशासन ने ब्राह्मण समाज से अनुरोध कर सोमवार को दोपहर में भगवा ध्वज उतरवा लिए थे, लेकिन रात होते-होते अल्पसंख्यक वर्ग के लोगों ने प्रतिमा से सटाकर धार्मिक झंडे लगा दिए। इस बात को लेकर दोनों पक्ष में हुआ विवाद पथराव में बदल गया। इस दौरान पुलिस भी काफी देर तक मूकदर्शक बनी रही। बाद में पुलिस ने लाठियां फटकार कर उपद्रव कर रहे लोगों को खदेड़ा।
Bhanu Bangwal
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।