Loksaakshya Social

Social menu is not set. You need to create menu and assign it to Social Menu on Menu Settings.

Social menu is not set. You need to create menu and assign it to Social Menu on Menu Settings.

December 20, 2025

मुख्य सचिव से मिले राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के नेता, इन समस्याओं की ओर दिलाया ध्यान

राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद उत्तराखंड के प्रतिनिधिमंडल ने राज्य के मुख्य सचिव आनंद बर्धन से सचिवालय में मुलाकात की। इस दौरान उन्होंने परिषद के मांग पत्र की समस्याओं को लेकर मुख्य सचिव का ध्यान दिलाया। साथ ही इस बात पर नाराजगी जताई कि पूर्व में शासन व सरकार के स्तर पर हुई विभिन्न बैठकों में लिये गये निर्णय के क्रम में शासन और वित्त विभाग की ओर से कार्यवाही नहीं की गई। वहीं, परिषद लगातार मांग की तरफ ध्यानाकर्षण कर रही है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

परिषद के प्रदेश अध्यक्ष अरुण पांडे ने बताया कि मांगों के निराकरण को लेकर परिषद लगातार प्रयासरत है, लेकिन आज की तिथि तक भी इन समस्याओं की ओर शासन स्तर पर निर्णय लेना तो दूर, एक भी बैठक का आयोजन नहीं किया गया। इससे प्रदेश के कर्मचारी अत्यधिक रोष में हैं। किसी भी समय आंदोलन के रूप में रोष का प्रकटीकरण किया जा सकता है। इस दौरान मुख्य सचिव को ज्ञापन भी सौंपा गया। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

ये हैं मांग
1- एसीपी के अन्तर्गत 10, 16 एंव 26 वर्ष की सेवा पर पदोन्नत वेतनमान देने के लिए विभिन्न विभागों में तीन पदोन्नति न प्राप्त कर सकने वाले कार्मिकों का संवर्गवार आंकडा वित्त विभाग की ओर से सम्बन्धित विभागों से वर्ष 2023 से पत्राचार किया जा रहा है। इसे लेकर संज्ञान में आया है कि कतिपय विभागों की ओर से तीन वर्ष की समयसीमा पूर्ण होने के उपरान्त भी सूचना उपलब्ध नहीं करायी गयी है। ऐसे विभागाध्यक्षों को चिह्नित करके लापरवाही करने वालों के खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई की जाए। साथ ही इस प्रकरण पर शीघ्रातिशीघ्र निर्णय किया जाए। ताकि पात्र कर्मियों को पदोन्नत वेतनमान दिया जा सके।
2- गोल्डन कार्ड के अन्तर्गत ओपीडी में जन औषधि केन्द्रों से कैशलैस दवा एवं सुपरस्पेस्लिसट पंजीकृत चिकित्सालयों में कैशलैस जांच की सुविधा अनुमन्य की जाय।
3- वेतन समिति के सम्मुख विभिन्न संवगों की वेतन विसंगति दूर करने के लिए मजबूत पैरवी की गई थी। दिनांक 12. 8. 2022 की वार्ता को लेकर वेतन समिति की रिपोर्ट को सार्वजनिक किया जाए। भारत सरकार की ओर से आठवें वेतन आयोग के गठन का निर्णय लिया जा चुका है। उक्त के दृष्टिगत सातवें वेतन आयोग की विसंगतियों को दूर करने के लिए गठित वेतन समिति की रिपोर्ट को सार्वजनिक किया जाए।
4- पदोन्नति में शीथिलीकरण की अवधि से प्रोवेशन की शर्त को हटाया जाए। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

5- वाहन भत्ता प्रतिमाह 1200 रूपये में बढ़ोत्तरी की मांग परिषद की ओर से की गई थी। इसके आधार पर वाहन भत्ते की दरों में वृद्धि की गई। इस वृद्धि का लाभ 2013 के शासनादेश से वाहन भत्ता प्राप्त कर रहे कार्मिकों को नहीं प्राप्त हो रहा है। परिषद की मांग है कि अपर मुख्य सचिव वित्त की अध्यक्षता में आहूत बैठक में बनी सहमति के अनुसार वंचित कार्मिकों को भी वाहन भत्ते की बढ़ी दरों का लाभ अनुमन्य किया जाए। इसके साथ ही यात्रा भत्ता की दरों में संशोधन के प्रस्ताव को मंत्रीमंडल की आगामी बैठक में स्वीकृत कराया जाए।
6- विभिन्न विभागों के पुर्नगठन एवं सेवा नियमावलीयों में संशोधन के सम्बध में विभाग, शासन एंव वेतन समिति के स्तर पर कार्यवाही लम्बित है। इन्हें प्राथमिकता के आधार पर सम्बन्धित विभागीय संगठनों को विश्वास में लेकर पूर्ण किया जाए।
7- परिषद के संज्ञान में यह भी आया है कि राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण द्वारा गोल्डन कार्ड धारकों से कैशलेस चिकित्सा के लिए मात्र कटौती की धनराशि से ही भुगतान किया जा रहा है। वहीं, समस्त राज्यकर्मी एवं पेशनर पूर्व की भांति चिकित्सा प्रतिपूर्ति के हकदार हैं। इसलिए चिकित्सा प्रतिपूर्ति एवं चिकित्सालयों के भुगतान के लिए कम पड़ रही धनराशि को सरकार वहन करे।
8- एनपीएस के स्थान पर अन्य राज्यो यथा पंजाब एवं राजस्थान की भांति पुरानी पेंशन व्यवस्था लागू की जाए। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

9- आठवें वेतन आयोग के सम्बध में भारत सरकार की ओर से अपने अर्द्धशासकीय पत्र के माध्यम से राज्यों से सुझाव आमन्त्रित किये गये हैं। इसे लेकर मांग है कि परिषद को आमन्त्रित कर उसके सुझावों को सम्मलित करते हुए भारत सरकार को राज्य सरकार प्रेषित करें।
10- वर्कचार्ज कर्मियों को उच्चतम न्यायालय के निर्देशानुसार अनुमन्य की गई पेंशन एवं ग्रेच्युटी के भुगतान को लेकर आ रही समस्या का शासन व सरकार के स्तर से कार्यवाही कर समस्या का समाधान किया जाए।
11- सेवानिवृत्त कार्मिकों को चिकित्सा प्रतिपूर्ति के लिए बिल आहरण वितरण अधिकारी अथवा संबंधित कोषागार के माध्यम से प्रस्तुत करने की व्यवस्था चिकित्सा विभाग की ओर से जारी शासनादेश में की गई है। वित्त विभाग से शासनादेश जारी न होने के कारण कतिपय कोषागार इस संबंध में आनाकानी कर रहे हैं। अतः इसके लिए वित्त विभाग से भी शासनादेश निर्गत किया जाए।
12- समस्त वर्दीधारियों को पुलिस कर्मियो की भांति सुविधाए अनुमन्य करने की मांग पर शासन स्तर पर कार्यवाही लंबित है। ये मांग पूर्ण कराई जाए। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

13- दिनांक 30 जून एवं 31 दिसम्बर को सेवा निवृत्त होने वाले कार्मिकों को वेतनवृद्धि के लाभ के शासनादेश में उत्तर प्रदेश सरकार की ओर से जारी शासनादेश के अनुसार संशोधन किया जाए।
14- हरियाणा, राजस्थान एवं पंजाब राज्यों की ओर से राशिकरण की कटौती के समय में की गई कमी के दृष्टिगत उत्तराखंड के सेवानिवृत्त एवं सेवारत कार्मिकों के राशिकरण की कटौती पर भी समय में कमी की जाए।
15- राज्य कर्मियों को भी केन्द्र की भांति मकान किराया भत्ता अनुमन्य किया जाए।
16- विभिन्न विभागों में पदोन्नति सेवानियमावली एवं पुर्नगठन के लिए मुख्य सचिव के स्तर पर बैठक आयोजित की जाए।
17- समस्त निगम, निकाय, विश्वविद्यालय, राजकीय विश्वविद्यालय, महाविद्यालय, अशासकीय विद्यालय सहित अन्य समान प्रकृति के कार्मिकों को राज्य कर्मियों की भांति समस्त सुविधाए अनुमन्य करने का निर्णय शासन स्तर पर किया जाए।
18- आउटसोर्सिंग के माध्यम से कार्यरत कार्मिकों की सेवा बरकरार रखने के लिए संबंधित को निर्देशित किया जाए। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

ये रहे प्रतिनिधिमंडल में शामिल
परिषद ने मुख्य सचिव से अनुरोध किया कि इन मांगों में उठाए गए बिंदुओं के निराकरण के लिए समस्त पक्षों के साथ मुख्य सचिव की अध्यक्षता में बैठक आयोजित की जाए। ताकि लंबित प्रकरणों का निपटारा किया जा सके। प्रतिनिधिमंडल में परिषद के प्रदेश अध्यक्ष अरुण पांडे, प्रदेश महामंत्री शक्ति प्रसाद भट्ट, कोषाध्यक्ष रविंद्र सिंह चौहान शामिल थे।
नोटः सच का साथ देने में हमारा साथी बनिए। यदि आप लोकसाक्ष्य की खबरों को नियमित रूप से पढ़ना चाहते हैं तो नीचे दिए गए आप्शन से हमारे फेसबुक पेज या व्हाट्सएप ग्रुप से जुड़ सकते हैं, बस आपको एक क्लिक करना है। यदि खबर अच्छी लगे तो आप फेसबुक या व्हाट्सएप में शेयर भी कर सकते हो। यदि आप अपनी पसंद की खबर शेयर करोगे तो ज्यादा लोगों तक पहुंचेगी। बस इतना ख्याल रखिए।

Bhanu Bangwal

लोकसाक्ष्य पोर्टल पाठकों के सहयोग से चलाया जा रहा है। इसमें लेख, रचनाएं आमंत्रित हैं। शर्त है कि आपकी भेजी सामग्री पहले किसी सोशल मीडिया में न लगी हो। आप विज्ञापन व अन्य आर्थिक सहयोग भी कर सकते हैं।
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *