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April 26, 2025

विश्व महासागर दिवस आज, जानिए इसे मनाने के कारण, समुद्र तट की सैर के फायदे

आज विश्व महासागर दिवस है। इसे हर साल आठ जून के दिन मनाया जाता है। विश्व महासागर दिवस का संबंध महासागरों की विशेषता से है। महासागर जैव विविधता से भरे हुए हैं। इनके हर स्तर पर पारिस्थितिक तंत्र है, जिनमें अनेक प्रकार के जीव हैं। इस दिन को मनाने का मकसद महासागर को बचाना, जैव विविधता को बनाए रखना और महासागर से मिलने वाले संसाधनों की क्षति होने को रोकना है। साथ ही महासागरों के महत्व और समुद्री संसाधनों के संरक्षण के बारे में लोगों को जागरुक करना है। दरअसल पिछले कई सालों से दुनियाभर में प्रदूषण की समस्या बड़ी है, जिससे महासागर भी वंचित नहीं हैं। विश्व महासागर दिवस महासागरों के अंधाधुंध दोहन और संरक्षण के स्थायी समाधान को खोजने की दिशा में कदम उठाने के लिए प्रेरित करता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

महासागर की उपयोगिता
महासागर केवल जल के स्त्रोत ही नहीं हैं, बल्कि इनसे संसार के अनेक लोगों को भोजन और पोषण दोनों ही मिलते हैं। वहीं, ये वैश्विक अर्थव्यवस्था में योगदान देते हैं और इनसे अनेक लोगों की रोजी-रोटी जुड़ी है. प्रदूषण और ग्लोबर वॉर्मिंग जैसी पर्यावरण से जुड़ी समस्याएं महासागर और उसमें रहने वाले जीवों के लिए खतरा पैदा कर रही हैं। इसे देखते हुए इस दिन को मनाने का महत्व और भी बढ़ जाता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

विश्व महासागर दिवस का इतिहास
दुनियाभर में विश्व महासागर दिवस मनाने की पहल सबसे पहले साल 1992 में कनाडा सरकार की ओर से ब्राजील के रियो डी जनेरियो में आयोजित पृथ्वी शिखर सम्मेलन में प्रस्तावित की गई थी, जिसे वहां मौजूद प्रतिनिधियों और समर्थकों की काफी सराहना मिली। इसके बाद समुद्रों के संरक्षण के लिए संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 8 जून को ‘विश्व महासागर दिवस’ के रूप में मनाने के लिए एक आधिकारिक प्रस्ताव पारित किया। इसी के बाद से 8 जून को हर साल विश्व महासागर दिवस मनाया जाता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

विश्व महासागर दिवस मनाने का महत्व
समुद्र धरती का आधे से ज्यादा हिस्सा कवर करते हैं। ऐसे में समुद्री तंत्र के संरक्षण, स्थायी मछली पकड़ने की प्रथाओं को अपनाने, महासागरों के प्रदूषण को कम करने और अन्य प्रमुख महासागर संबंधी समस्याओं के संबंध में उचित उपाय की पहल करने के लिए हर साल विश्व महासागर दिवस मनाया जाता है। इस खास दिन लोगों को समुद्री सरंक्षण के बारे में जागरुक किया जाता है। महासागरीय संसाधनों के लगातार दोहन के अलावा इस खास दिन इससे होने वाले प्रदूषण के हानिकारक प्रभावों के बारे में जागरूक करने के लिए सरकारी और गैर-सरकारी संगठनों की ओर से कई तरह के कार्यक्रमों का आयोजित किए जाते हैं। इससे लोगों में महासागरों के प्रति जागरुकता फैलती है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

विश्व महासागर दिवस 2024 की थीम
इस बार विश्व महासागर दिवस की थीम टिकाऊ मछली पकड़ने की प्रथाओं को प्रेरित करना है। ताकि आने वाले समय में इन्हीं का इस्तेमाल किया जा सके और किसी भी प्रकार की गंदगी और प्रदूषण से महासागरों और उसमें रहने वाले जीवों की रक्षा की जा सके। बता दें पृथ्वी पांच महासागरों से घिरी हुई है, जिसमें से एशिया और अमेरिका के बीच बहने वाला प्रशांत महासागर सबसे बड़ा और गहरा महासागर है। इसके अलावा हमारी पृथ्वी पर अटलांटिक महासागर, हिंद महासागर, आर्कटिक महासागर और दक्षिणी महासागर हैं। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

सेहत के लिए लाभकारी हैं समुद्रतट
ऐसे अनेक लोग हैं जिन्हें समुद्रतट के करीब टहलने पर या चलने पर खुशी महसूस होती है। इसका मुख्य कारण है कि समुद्रतट की सैर किसी थैरेपी से कम नहीं है। इसके सचमुच कई फायदे हैं जो सेहत को मिलते हैं। हम यहां समुद्र की सैर के फायदे आपको गिनाने जा रहे हैं।
-समुद्रतट की सैर विटामिन डी पाने का अच्छा तरीका हो सकती है। आपको प्राकृतिक तौर पर विटामिन डी मिलता है, जिसका मुख्य स्त्रोत सूरज की किरणें ही होती हैं।
-एक्टिव रहने के लिए भी बीच वेकेशन अच्छा है। क्योंकि बीच के किनारे सैर करते हुए आपकी अच्छी वॉकिंग हो जाती है और अगर आप समुद्र में तैरते हैं तो अलग से कार्डियो करने की जरूरत नहीं पड़ती।
-समुद्र किनारे सैर करने से अच्छी खासी थैरेपी मिल जाती है। समुद्र किनारे की ताजा हवा से दिल को सुकून मिलता है।
-धूप में बैठना और समुद्र की लहरों का उत्कल देखना मन को खुशी का एहसास देता है। इससे अवसाद जैसी भावनाएं कम होती हैं।
-समुद्र किनारे की सैर क्रिएटिविटी बढ़ाने का भी अच्छा तरीका है। कुछ भी क्रिएटिव करने के लिए मन में नए आइ़डिया समुद्र तट की सैर करने से भी आ सकते हैं। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

-समुद्र तट पर टहलने से आप सामान्य से दोगुनी कैलोरी जलाते हैं और किसी भी अन्य सतह पर टहलने से आपकी मांसपेशियां अधिक मजबूत होती हैं। आप इसे विशेष रूप से टखनों, पिंडलियों और पैरों में महसूस करेंगे क्योंकि वे मजबूत होंगे।
– रेत पर चलना हृदय प्रणाली को उत्तेजित करने के लिए एकदम सही है। यह आपके रक्त प्रवाह में सुधार करता है। इसका परिसंचरण पर सीधा प्रभाव पड़ता है और इसलिए ऑक्सीजनेशन में भी।
– आप ऑस्टियोपोरोसिस से पीड़ित होने के जोखिम को कम कर देंगे। सामान्य तौर पर, चलने से हड्डियों का घनत्व बढ़ता है, लेकिन यह प्रभाव समुद्र तट पर कई गुना बढ़ जाता है। क्योंकि सूरज के संपर्क में आने से शरीर को अधिक विटामिन डी को संश्लेषित करने में मदद मिलती है, जो हमारी हड्डियों में कैल्शियम को ठीक करने के लिए आवश्यक है।
– समुद्र तट पर टहलने से हमारे तंत्रिका तंत्र को लाभ मिलता है। इसलिए यह अवसाद, तनाव, चिंता या अनिद्रा जैसी समस्याओं को रोकता है। लहरों की आवाज़, ताज़ी हवा और शांत वातावरण आपको आराम करने के लिए आमंत्रित करते हैं, यह आपको जीवन शक्ति देता है और आपकी चिंताओं को दूर करता है। समुद्र तट पर नियमित रूप से टहलना प्रकृति के साथ उस बंधन को बनाए रखने का एक उत्कृष्ट नुस्खा है, एक बंधन जो इन दिनों बहुत जरूरी है क्योंकि यह समय भीड़-भाड़ से भरा हुआ है।
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भानु बंगवाल
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।

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