नहीं रहे उत्तराखंड के साहित्यकार एवं पत्रकार त्रिनेत्र जोशी, कई दिनों से चल रहे थे बीमार
उत्तराखंड में प्रसिद्ध कवि, पत्रकार और अनुवादक त्रिनेत्र जोशी का बृहस्पतिवार को हरियाणा के गुरुग्राम में में निधन हो गया । वह पिछले कुछ दिनों से बीमार चल रहे थे। त्रिनेत्र जोशी के निधन से पत्रकारिता व साहित्य जगत में शोक की लहर है। 26 मई 1948 को उत्तराखंड के रानीखेत में जन्मे त्रिनेत्र जोशी की प्रमुख कृतियों में काव्य संग्रह- घूम गया कई मोड़, गर्मियाँ, चिट्ठी, जाते हुए, झिलमिल, नेकांत, भीतर-बाहर, महानगर और एक नाटक तूफान है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)उन्होंने हिंदी व चीनी भाषा में परास्नातक किया था और वह देश के तमाम बड़े अखबारों में महत्वपूर्ण पदों पर रहे। वह देश के उन विरले अनुवादकों में थे जिन्होंने चीनी भाषा का साहित्य हिंदी साहित्यिक समाज को उपलब्ध कराया। बारिश में करुणानिधान, स्वतः स्फूर्त, यों ही व नववर्ष की पहरेदारी उनके द्वारा अनूदित महत्वपूर्ण कृतियां हैं।उत्तराखंड राज्य आंदोलन के दौर में देहरादून में उन्होंने हिमालय दर्पण अखबार की कमान भी संभाली थी। वह विदेश मामलों के भी बड़े जानकार थे और हालिया रूस यूक्रेन संकट, श्रीलंका संकट आदि पर उन्होंने महत्वपूर्ण टिप्पणियां लिखीं थीं।

Bhanu Prakash
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भानु बंगवाल
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।




