उत्तराखंड अधिकारी कर्मचारी शिक्षक समन्वय समिति ने प्रदेश के जिलों में कैंडल मार्च निकालकर अंकिता को दी श्रद्धांजलि

समिति के प्रवक्ता अरुण पांडे ने बताया कि आज मंगलवार 27 सितंबर को कार्मिकों की 20 सूत्रीय मांगों के निराकरण की मांग को लेकर जनपद स्तरीय रैली प्रस्तावित थी। अंकिता हत्याकांड से प्रदेश में उपजे जनआक्रोश को देखते हुए समिति ने अपने कार्यक्रम में परिवर्तन कर अंकिता को न्याय दिलाने के लिए कैंडल मार्च निकाला। साथ ही यह संदेश देने का प्रयास किया गया कि इस दुख की घड़ी में कर्मचारी संगठन पूर्ण रूप से पीडित परिवार के साथ खड़े हैं। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
राजधानी देहरादून में जिला मुख्य संयोजक सुभाष देवलियाल, आरपी जोशी, चौधरी ओमवीर सिंह, शान्तनु शर्मा एवं दीप चन्द्र बुधलाकोटी के आह्वान पर सायं 5:30 बजे से कैंडल मार्च निकाला गया। जो कि घंटाघर से गांधी पार्क होते हुए वापस घंटाघर स्थित उत्तराखंड राज्य आंदोलन के प्रणेता स्व. इन्द्रमणि बड़ोनी की प्रतिमा के समक्ष समाप्त हुआ। यहाँ पर कार्मिकों ने 2 मिनट का मौन रखकर उत्तराखंड की बेटी अंकिता को भावभीनी श्रदांजलि दी गई। कार्मिकों ने अंकिता के हत्यारों को जल्द से जल्द फांसी की मांग को लेकर नारेबाजी भी की। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
कैंडल मार्च में राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के प्रदेश अध्यक्ष अरुण पाण्डे, डिप्लोमा इंजीनियर्स महासंघ के अध्यक्ष एस एस चौहान, महामंत्री मुकेश रतूड़ी, पर्वतीय कर्मचारी शिक्षक संगठन के महामंत्री पंचम सिंह बिष्ट, मिनिस्टीरियल फैडरेशन के अध्यक्ष पूर्णानन्द नौटियाल, महामंत्री मुकेश बहुगुणा, इंजीनियरर्स ड्राइंग संघ के अध्यक्ष निशंक सरोही, निगम अधिकारी कर्मचारी महासंघ के अध्यक्ष दिनेश गुंसाई, महासचिव बी एस रावत, मेजपाल सिंह, प्रदेश संयोजक अशोक राज उनियाल, समन्वय समिति के मुख्य जिला संयोजक सुभाष देवलियाल, आर पी जोशी, चौधरी ओमवीर सिंह, शान्तनु शर्मा, जिला कोषाध्यक्ष रमेश चन्द्र भट्ट, रेनू लांबा, दिशा बड़ोनी, सुधा कुकरेती, विक्रम सिंह नेगी,रविन्द्र सिंह, भूपेश पुरोहित सहित कई अन्य कर्मचारी नेता एवं कर्मचारी शामिल हुए। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
बता दें कि पौड़ी जिले के यमकेश्वर प्रखंड के अंतर्गत गंगा भोगपुर स्थित रिसोर्ट से 18 सितंबर की रात से संदिग्ध परिस्थितियों में रिसेप्शनिस्ट अंकिता भंडारी लापता हो गई थी। पुलिस ने जब जांच की तो पता चला कि हत्या कर उसका शव चीला नहर में फेंक दिया गया था। इस मामले में रिसोर्ट मालिक पुलकित आर्य, प्रबंधक सौरभ भास्कर और सहायक प्रबंधक अंकित गुप्ता को गिरफ्तार किया है। मुख्य आरोपी पुलकित आर्य पूर्व बीजेपी नेता और पूर्व मंत्री विनोद आर्य का बेटा पुलकित आर्य है। पुलकित आर्य रिजॉर्ट का मालिक है। विनोद आर्य और उनके दूसरे बेटे अंकित आर्य को बीजेपी ने निष्कासित कर दिया है।

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भानु बंगवाल
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।