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September 16, 2025

उत्तराखंड कांग्रेस का भाजपा पर वार, कहा-जलते रोम को छोड़ चुनावी बांसुरी बजा रहे भारत के नीरो

उत्तराखंड प्रदेश कांग्रेस कमेटी के मीडिया प्रभारी राजीव महर्षि ने यूक्रेन में रूस की गोलाबारी में भारतीय छात्र नवीन कुमार की मौत पर गहरा दुःख जताया। साथ ही इस घटना के लिए भारत सरकार की विफलता करार दिया।

उत्तराखंड प्रदेश कांग्रेस कमेटी के मीडिया प्रभारी राजीव महर्षि ने यूक्रेन में रूस की गोलाबारी में भारतीय छात्र नवीन कुमार की मौत पर गहरा दुःख जताया। साथ ही इस घटना के लिए भारत सरकार की विफलता करार दिया। उन्होंने कहा कि भारत के प्रधानमंत्री की प्राथमिकता उत्तर प्रदेश का चुनाव प्रचार है, जबकि यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्र स्वदेश वापसी के लिए मदद की गुहार लगाते लगाते निराश हो गए हैं। उन्होंने कहा कि हालिया घटना रोम के नीरो की तरह है। प्रधानमंत्री मोदी अपने नागरिकों को युद्ध क्षेत्र से सुरक्षित निकालने की कोशिश करने की बजाय चुनाव को महत्व दे रहे हैं।
राजीव महर्षि ने कहा कि चुनाव तो आते जाते रहेंगे, लेकिन भारत के जिन नागरिकों का जीवन इस समय खतरे में है। उनकी जान बचाना इस समय सरकार की प्राथमिकता होनी चाहिए थी, लेकिन प्रधानमंत्री को उत्तर प्रदेश की सत्ता ज्यादा जरूरी लग रही है। कांग्रेस मीडिया प्रभारी ने कहा कि अभी भी समय है। सरकार को इस समय पूरा फोकस यूक्रेन में फंसे भारतीय नागरिकों की सकुशल वापसी पर होना चाहिए। वरना लोग नीरो को वक़्त आने पर उसकी जगह दिखाने में देर नहीं करते।
उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में चुनाव् का महत्व होता है, लेकिन युद्ध की स्थिति में नागरिकों का जीवन बचाना चुनाव से ज्यादा महत्वपूर्ण होता है। यूक्रेन में फंसे भारतीय छात्रों के जो वीडियो आ रहे हैं, वह बेहद कष्टदायक हैं। केंद्र की मोदी सरकार ने इसे गंभीरता से नहीं लिया। वहीं, बीजेपी आइटी सेल के लोग उल्टे इन छात्रों के खिलाफ ही पोस्ट डाल रहे हैं। जिसकी जितनी निंदा की जाए, वो कम है।
राजीव महर्षि ने उत्तराखण्ड की धामी सरकार को भी आड़े हाथ लेते हुए कहा कि यह सरकार जिलों से यूक्रेन में फंसे छात्रों का विवरण जुटा रही है, जबकि विदेश मंत्रालय की साईट पर सारा विवरण उपलब्ध रहता है। ऐसी निकम्मी  सरकार माफ़ी की भी हक़दार नहीं है। उसने पूरा एक सप्ताह विवरण जुटाने में बिता दिया। उन्होंने मांग की है कि अभी भी सरकार अपने नागरिकों की सुरक्षित वापसी पर ध्यान केंद्रित करें। वरना लोग इसे कभी माफ़ नहीं करेंगे।

Bhanu Bangwal

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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।

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