Loksaakshya Social

Social menu is not set. You need to create menu and assign it to Social Menu on Menu Settings.

Social menu is not set. You need to create menu and assign it to Social Menu on Menu Settings.

December 22, 2024

सर्दियों में मॉर्निंग वॉक कर दें बंद, हार्ट अटैक का बढ़ जाता है खतरा, जानिए वॉक का सही समय


Warning: Attempt to read property "post_excerpt" on null in /home/u924184807/domains/loksaakshya.com/public_html/wp-content/themes/newsphere/inc/hooks/hook-single-header.php on line 67

यदि आप ऐसे शहर में रहते हो जहां सर्दियों में प्रदूषण का स्तर बढ़ने लगता है तो आपके लिए सबसे काम की सलाह ये है कि सर्दियों में मॉर्निंग वॉक को बंद कर दें। खासकर दिल्ली-एनसीआर, इससे आपसास के इलाके, यूपी के ऐसे शहर जहां ज्यादा उद्योग हैं, वहां के लोगों को सर्दियों में मॉर्निंग वॉक से बचना चाहिए। कारण ये है कि सर्दियों के दौरान प्रदूषण के चलते दिल्‍ली-एनसीआर सहित कई शहरों की हवा में जहर घुल चुका है। इसमें सांस लेने भर से दम घुट रहा है। प्रदूषण के चलते खांसी और कई बीमारियों की चपेट में आए लोगों की संख्‍या भी अस्‍पतालों में तेजी से बढ़ने लगती है। डॉक्‍टरों का कहना है कि अगर प्रदूषण से बचना है तो मॉर्निंग वॉक को इन दो से तीन महीनों के लिए पूरी तरह बंद कर दें। जैसे ही प्रदूषण स्‍तर में कमी होने लगे और हवा साफ होने लगे, उसके बाद ही सुबह टहलने के बारे में सोचें तो सेहत ठीक रहेगी। इसी तरह नाइट वॉक पर जाना पूरी तरह बंद कर दें। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

इन स्थानों पर प्रदूषण से जूझते हैं लोग
दिल्ली में एयर क्वालिटी बिल्कुल खराब हो गई है ऐसी स्थिति में जो लोग मॉर्निंग वॉक करने जाते हैं उन्हें खास सलाह दी गई है कि वह न जाएं। क्योंकि यह फायदे की जगह नुकसान पहुंचाता है। इसके कारण सांस से जुड़ी गंभीर बीमारी हो सकती है। दिल्ली में देश में सबसे खराब वायु गुणवत्ता दर्ज की जाती रही है। सर्दियों में दिल्ली और इसके आसपास के लोग क़रीब तीन महीने तक एक तरह के गैस चैंबर में ज़हरीली हवा के बीच सांस लेने को मजबूर होते हैं। बिहार में बेगुसराय और राजस्थान में हनुमानगढ़ जैसे शहर राष्ट्रीय राजधानी में होने वाले प्रदूषण के स्तर के बराबर रहे हैं। इसके अलावा, दक्षिण भारत और हिमालयी क्षेत्र के औद्योगिक शहर, उत्तरभारत के औद्योगिक शहर भी उच्च प्रदूषण स्तर से जूझते पाए जाते रहे हैं। ऐसे शहरों में इन दिनों प्रदूषण का असर इतना ज़्यादा होता है कि यह स्वस्थ इंसान को भी गंभीर बीमारियाँ दे सकता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

हार्ट अटैक का बढ़ जाता है खतरा
हम सभी जानते हैं कि दिल का दौरा सुबह जल्दी उठने के समय और सर्दियों के मौसम में ठंड के कारण होता है। ऐसे में सुबह और रात को वॉक से दिल के दौरे का खतरा और भी बढ़ जाता है। वे सभी लोग जो उच्च जोखिम वाले हैं, यानी जिनके परिवार में दिल की बीमारी का इतिहास रहा है। उच्च रक्तचाप है, जो मधुमेह के रोगी हैं और जिन्हें फेफड़ों की कोई अन्य समस्या है। उन्हें सुबह-सुबह सर्दियों में सैर (या कसरत) करने की सलाह नहीं दी जाती है। हिंदुस्तान टाइम में छपी खबर के मुताबिक फोर्टिस मेमोरियल रिसर्च इंस्टीट्यूट के कार्डियोथोरेसिक और वैस्कुलर सर्जरी (सीटीवीएस) के निदेशक और प्रमुख डॉ. उदगीथ धीर ने कहा कि ऐसे लोगों को खासकर सर्दियों में मॉर्निंग वॉक से बचना चाहिए। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

इसलिए है खतरनाक
विशेषज्ञ चिकित्सक बताते हैं कि सुबह के समय प्रदूषण यानि पार्ट‍िकुलेट मेटर्स जमीन पर या जमीन के बेहद नजदीक होते हैं। उस समय हवा भी नहीं चल रही होती। लिहाजा जो लोग मॉर्निंग वॉक पर जाते हैं और इस हवा में सांस लेते हैं, वे शुद्ध या ताजी हवा के बजाय इन प्रदूषित तत्‍वों को इनहेल कर रहे होते हैं। वहीं एक हकीकत यह भी है कि जब आप सुबह उठकर एक्‍सरसाइज करते हैं तो आपको ज्‍यादा ऑक्‍सीजन की जरूरत होती है। आप ज्‍यादा इनहेल करते हैं। ऐसे में यह प्रदूषण और कार्बन सीधे-सीधे आपके फेफड़ों और फिर उससे ब्‍लड में जाकर आपको नुकसान पहुंचाता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

नाइट वॉक भी खतरनाक
चिकित्सकों के मुताबिक, जैसे-जैसे अंधेरा होने लगता है और मौसम ठंडा होने लगता है, फिर से प्रदूषण की परत वातावरण में जमने और जमीन की ओर आने लगती है। यही वजह है कि शाम के 6-7 बजे के बाद एकदम से स्‍मॉग आने लगता है, जिसमें फिर वही प्रदूषण, धूल मिली होती है। लिहाजा अगर आप रात में खाना खाकर टहलने जाते हैं तो यह भी आपको बीमारियां दे सकता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

सुबह टहलने के दौरान इन बातों का रखें ख्याल
कई लोग सुबह सुबह टहलना छोड़ना नहीं चाहते। ऐसे में उन्हें सलाह दी जाती है कि हमें सुबह की ठंड से खुद को बचाना होगा। हमें अपने हाथ-पैरों को ढक कर रखना चाहिए, यानी सिर, कान, हाथ और पैर की उंगलियों को। आपकी छाती का क्षेत्र पर्याप्त गर्म होना चाहिए और बिना वार्म-अप के व्यायाम शुरू न करें। वार्म-अप सबसे महत्वपूर्ण है और सर्दियों के मौसम में यह और भी ज़रूरी है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

वार्मअप के बगैर व्यायाम करने से बढ़ जाता है खतरा
जो लोग उचित वार्म-अप के बिना ही व्यायाम करते हैं और जो लोग उच्च जोखिम में हैं, उन्हें सर्दियों में दिल का दौरा और स्ट्रोक हो सकता है। सर्दियों की सुबह में हृदय संबंधी बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। रक्तचाप सर्दियों के विपरीत आनुपातिक होता है। सर्द मौसम में दबाव बढ़ जाता है और इसके परिणामस्वरूप, हमारा दिल तेजी से धड़कता है और अधिक रक्त पंप करने की आवश्यकता होती है। ये कमजोर दिल वाले व्यक्ति के लिए अनुकूल नहीं है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

सर्दियों में सुबह वॉक का सही समय
डॉ. कहते हैं कि इस मौसम में कोशिश करें कि ज्‍यादा से ज्‍यादा समय घर में रहें। सुबह और रात में दरवाजे व खिड़कियां न खोलें, लेकिन अगर आपको वॉक करनी ही है तो सुबह सूरज निकलने के बाद कर सकते हैं। धूप खिलते ही प्रदूषण भी ऊपर उठने लगता है या छंट जाता है। उस समय अगर आप टहलते हैं तो आपको सांस लेने में भी दिक्‍कत नहीं होगी। हवा भी इस समय साफ होगी। इसलिए कोशिश करें कि सुबह 8-9 बजे के बाद आप कोई भी एक्‍सरसाइज या वॉक करें। इसी तरह सूरज छिपने से पहले शाम को वॉक कर सकते हैं। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)

सर्दियों में सैर पर जाते समय इन बातों का रखें ध्यान
-ढके कपड़े पहनें और घर से बाहर टहलने जाएं।
-शरीर को पूरी तरह ढककर ही घर से बाहर टहलने के लिए निकलना चाहिए।
-गर्म कपड़े पहनकर बाहर निकलें।
-शुरुआत में तेज न चलें।
-अगर आपको हृदय संबंधी समस्या, अस्थमा या निमोनिया है तो सुबह के समय टहलने न जाएं।
-सर्दी के मौसम में बुजुर्ग लोगों को पैदल चलने से बचना चाहिए।
-पहले धीरे-धीरे चलना शुरू करें और फिर स्पीड बढ़ाएं।
-ठंड के मौसम में आप सुबह 8.30 से 9.30 और शाम को 5 से 6 बजे के बीच टहलने जा सकते हैं।
नोटः सच का साथ देने में हमारा साथी बनिए। यदि आप लोकसाक्ष्य की खबरों को नियमित रूप से पढ़ना चाहते हैं तो नीचे दिए गए आप्शन से हमारे फेसबुक पेज या व्हाट्सएप ग्रुप से जुड़ सकते हैं, बस आपको एक क्लिक करना है। यदि खबर अच्छी लगे तो आप फेसबुक या व्हाट्सएप में शेयर भी कर सकते हो।

+ posts

लोकसाक्ष्य पोर्टल पाठकों के सहयोग से चलाया जा रहा है। इसमें लेख, रचनाएं आमंत्रित हैं। शर्त है कि आपकी भेजी सामग्री पहले किसी सोशल मीडिया में न लगी हो। आप विज्ञापन व अन्य आर्थिक सहयोग भी कर सकते हैं।
भानु बंगवाल
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You cannot copy content of this page