Video:चारधाम यात्रा के संदेश को गंगोत्री में रचाई शादी, तीर्थ पुरोहित बने बराती
अब तो चारधाम यात्रा समापन पर है। गंगोत्री मंदिर के कपाट भी 15 नवंबर को बंद हो जाएंगे। यात्रा के लिए अब मात्र कुछ ही दिन बचे हैं। ऐसे में एक युवक ने गंगोत्री मंदिर में शादी रचाकर चारधाम यात्रा में लोगों को प्रेरित करने का संदेश दिया।
शहरी व ग्रामीण सभ्यता में जहां शादी में धमाचौकड़ी होती है, वहीं शराब व अन्य धूमधड़ाके से इतर एक युवक और उसके परिजनों से मां गंगा के चरणों में शादी का आयोजन कर लोगों को एक अच्छा संदेश दिया। इस शादी में तीर्थ पुरोहित बने बराती और गंगोत्री में आमजन व श्रद्धालु सभी शामिल हुए।
युवक व युवती का परिचय
उत्तरकाशी के मुखवा निवासी युवक मनीष सेमवाल पोस्ट ग्रेजुएट होने के साथ ही बीएड भी हैं। वह गंगोत्री धाम में तीर्थ पुरोहित हैं। उनका रिश्ता उत्तरकाशी के मनेरी की मनीषा से तय हुआ। मनीषा आयुर्वेद से जीएनएम हैं। साथ ही हरिद्वार के एक निजी अस्पताल में नौकरी करती हैं।
परिजन चाहते थे गांव में हो शादी
बताया जा रहा है कि मनीष के परिजन गांव में ही शादी का आयोजन करना चाहते थे। वहीं, मनीष गंगोत्री धाम में शादी के पक्षधर थे। उन्होंने परिवार वालों को आखिर मना लिया कि दिखावा न करके सादगी से शादी की जाएगी। फिर दोनों परिवार के लोग गंगोत्री धाम पहुंचे। गंगा निवासी से बरात निकली और गंगोत्री मंदिर पहुंची। यहां विवाह के सारे कार्यक्रम आयोजित किए गए।
गंगोत्री में शादी की मान्यता
ऐसी मान्यता है कि जो गंगोत्री धाम जैसे पावन पुण्य तीर्थ में दांपत्य सूत्र के बंधन में बनते हैं, उनका भावी दांपत्य जीवन मंगलमय होता है। उन्हें जीवन में किसी प्रकार के कोई कष्ट नहीं होते हैं। गंगोत्री धाम में जहां अन्य तीर्थ कर्म संपन्न होते हैं, वही विवाह समारोह भी होते हैं। गंगा जी सौभाग्य प्रदात्रि है। हर प्रकार के सुख और संपत्ति देने वाली हैं। इस कारण और उसके पश्चात जहां नवरात्रि का समापन है और आज दशमी का दिन है और गंगा दशहरा से भी जोड़ा जाता है।
गंगोत्री से सत्येंद्र सेमवाल की रिपोर्ट
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।