एसीपी के तहत प्रोन्नत वेतनमान को लेकर कई विभागों ने नहीं भेजी सूचना, शासन ने लिया संज्ञान, दिए ये निर्देश

उत्तराखंड में राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद की बहुप्रतीक्षित मांग राजकीय कर्मचारियों के लिए संशोधित सुनिश्चित कैरियर प्रोन्नयन योजना (एसीपी) के अन्तर्गत 10, 16, 26 वर्ष की सेवा पर पदोन्नत पद का वेतनमान देने के संबंध में अभी भी कई विभागों ने शासन को सूचना नहीं दी है। इस पर शासन ने इस मामले को संज्ञान में लिया है। साथ ही 15 दिन के भीतर सूचना मांगी है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के प्रदेश प्रवक्ता आरपी जोशी ने बताया कि राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद विगत कई वर्षों से राज्य कर्मचारियों को पूर्व की भांति 10, 16, 26 वर्ष की सेवा पर पदोन्नत पद के वेतनमान को एसीपी के रूप में दिए जाने की मांग राज्य सरकार एवं शासन से करता रहा है। इसके क्रम में वित्त अनुभाग उत्तराखंड शासन की ओर से 20 जनवरी 2023 एवं 12 मई 2023 को समस्त प्रमुख सचिवों, सचिवों एवं विभागाध्यक्षों से उक्त योजना लागू किए जाने पर अतिरिक्त व्यय का आंकलन करने को कहा था। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
इसके तहत वित्तीय वर्ष 2016-17 से वित्तीय वर्ष 2021-22 तक की सूचना मांगी गई थी। उन्होंने बताया कि आज की तिथि तक मात्र कुछ विभागों द्वारा ही सूचना शासन को प्रेषित की गई है। अभी भी अर्थ एवं संख्या विभाग, स्टांप एवं निबंधन, कृषि विभाग, सैनिक कल्याण विभाग, निदेशालय विभागीय लेखा, विधिक माप विज्ञान विभाग, आयुक्त गन्ना विकास एवं चीनी उद्योग, प्राविधिक शिक्षा, उत्तराखंड राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण, राजभवन, कौशल विकास एवं सेवायोजन, महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास, राजस्व, उद्यान, उच्च शिक्षा विभाग को छोड़कर अन्य समस्त विभागों से सूचना अप्राप्त है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने बताया कि अब शासन की ओर से पुनः 19 अगस्त 2025 को समस्त विभागों के प्रमुख सचिवों, सचिवों एवं विभागाध्यक्षों को पत्र जारी कर वित्तीय वर्ष 2016-17 से वित्तीय वर्ष 2025-26 तक की सूचना 15 दिनों के भीतर वित्त अनुभाग-07 को उपलब्ध कराने के लिए निर्देशित किया गया है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
परिषद के प्रदेश अध्यक्ष अरुण पांडे एवं महामंत्री शक्ति प्रसाद भट्ट ने शासन से मांग की है कि जिन विभागों की ओर से दो वर्षों का समय व्यतीत होने के उपरांत भी सूचना उपलब्ध नहीं कराई गई है, उनके विभागाध्यक्षों की जिम्मेदारी तय करते हुए उनके विरुद्ध अनुशासनिक कार्रवाई की जाए। साथ ही उन्होंने परिषद के समस्त घटक संघों का आह्वान किया है कि घटक संघों के प्रदेश अध्यक्ष, प्रदेश महामंत्री अपने विभाग की उक्त सूचना को यथाशीघ्र वित्त अनुभाग तक पहुँचाने में अपना सहयोग प्रदान करें। ताकि उक्त मांग का निराकरण शीघ्रातिशीघ्र करवाया जा सके।
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Bhanu Bangwal
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।