महिला उत्पीड़न पर उत्तराखंड की बात कर लो सरकारः किरन रावत कश्यप
कोलकाता में महिला चिकित्सक से दुष्कर्म के बाद उसकी हत्या का मामला राजनीतिक रूप ले चुका है। इसमें खास बात ये है कि बीजेपी पश्चिम बंगाल सरकार पर इस मुद्दे पर आक्रमक है। वहीं, दूसरे विपक्षी दल ऐसी उन घटनाओं को लेकर बीजेपी को भी घेर रहे हैं, जो बीजेपी शासित राज्यों में हो रही हैं। उत्तराखंड के उधमसिंह नगर जिले के रुद्रपुर में भी एक नर्स के साथ पहले दुष्कर्म किया गया। इसके बाद उसकी हत्या कर दी गई। अब अपराध को राज्यों की सरकारों के हिसाब से देखेंगे या फिर सबके लिए एक नजरिया रखेंगे। इसे लेकर ही सवाल उठाए जा रहे हैं। इसे लेकर आज उत्तराखंड क्रांति दल की केंद्रीय मीडिया प्रभारी एवं एडवोकेट किरन रावत कश्यप ने बीजेपी को सवालों के घेरे में लिया है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
एक बयान में उन्होंने कहा कि कोलकाता की घटना निंदनीय है। इसके दोषियों पर कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए। साथ ही उत्तराखंड में महिलाओँ पर हो रहे अत्याचारों की बात भी सरकार के साथ ही बीजेपी को करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि देवभूमि उत्तराखंड में दिनोंदिन महिलाओं के साथ बलात्कार एवं हत्या जैसी घटनाएं बढ़ती जा रही हैं। ये बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण बात है। इस प्रकार की घटनाओं का सिलसिला थमने का नाम ही नहीं ले रहा है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
एडवोकेट किरन रावत कश्यप ने कहा कि एक महिला डॉक्टर के साथ इतनी दरिंदगी होने के पश्चात भी बंगाल में सियासी राजनीति की जा रही है। वहीं दूसरी तरफ उत्तराखंड में अंकिता हत्याकांड में भाजपा के नेताओं के नाम सामने आने के बावजूद बावजूद भी अभी तक पीड़ित पक्ष को न्याय नहीं मिल पाया है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि उत्तराखंड भी ऐसी घटनाओं से अछूता नहीं है। इसी तरह की घटनाएं अन्य राज्यों में भी सामने आ रही हैं। फिर नजरिया सभी मामलों में एक तरह का होना चाहिए। चाहे बिहार हो या फिर यूपी। उन्होंने कहा कि अभी हाल ही में रुद्रपुर में भी एक महिला नर्स के साथ बलात्कार की बात सामने आई है। उसकी हत्या भी कर दी गई। एक दिन पहले ही आईएसबीटी देहरादून में एक बस के अंदर चार युवकों ने एक किशोरी के साथ बलात्कार किया। इससे स्पष्ट है कि देवभूमि उत्तराखंड में भी महिला सुरक्षित नहीं रही है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि सरकार भी इस तरफ कोई ठोस कदम नहीं अपना रही है। यूकेडी का स्पष्ट कहना है कि महिलाओं पर हो रहे अत्याचारों, बलात्कार, हत्याकांड को लेकर राजनीति बिल्कुल भी नहीं होनी चाहिए। एक तरफ सरकार का बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ, का नारा है। वहीं, दूसरी तरह बेटियों की सुरक्षा की जिम्मेदारी कौन लेगा, ये भी एक सवाल है। इन सभी मामलों में दलगत राजनीति न होकर अपराधी के लिए तुरंत कड़ी कार्रवाई जानी चाहिए। अन्यथा महिलाओं को खुद ही शस्त्र उठाने पड़ेंगे।
नोटः सच का साथ देने में हमारा साथी बनिए। यदि आप लोकसाक्ष्य की खबरों को नियमित रूप से पढ़ना चाहते हैं तो नीचे दिए गए आप्शन से हमारे फेसबुक पेज या व्हाट्सएप ग्रुप से जुड़ सकते हैं, बस आपको एक क्लिक करना है। यदि खबर अच्छी लगे तो आप फेसबुक या व्हाट्सएप में शेयर भी कर सकते हो।
लोकसाक्ष्य पोर्टल पाठकों के सहयोग से चलाया जा रहा है। इसमें लेख, रचनाएं आमंत्रित हैं। शर्त है कि आपकी भेजी सामग्री पहले किसी सोशल मीडिया में न लगी हो। आप विज्ञापन व अन्य आर्थिक सहयोग भी कर सकते हैं।
भानु बंगवाल
मेल आईडी-bhanubangwal@gmail.com
भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।