उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के राजकीय पेंशनर 22 अप्रैल को करेंगे प्रदर्शन, आठवें वेतन आयोग के शीघ्र गठन की मांग

उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड के राजकीय पेंशनर ने अपनी मांगों के समर्थन में आंदोलन का फैसला लिया है। हरिद्वार जिले में प्रसार प्रशिक्षण केंद्र के सभागार में हुई बैठक में आठवें वेतन आयोग का शीघ्र गठन करने की मांग उठाई है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उत्तर प्रदेश उत्तराखंड राजकीय पेंशनर्स समन्वित मंच की बैठक वरिष्ठतम पेंशनर राम कुमार अग्रवाल और रामेश्वर दयाल अग्रवाल की संयुक्त अध्यक्षता आयोजित की गई। इसका संचालन मंच के संयोजक जेपी चाहर ने किया। तय किया गया कि 22 अप्रैल को जोरदार प्रदर्शन कर प्रधानमंत्री एवं मुख्यमंत्रियों को ज्ञापन प्रेषित किए जाएंगे। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
बैठक का संचालन करते हुए उत्तर प्रदेश उत्तराखंड राजकीय पेंशनर्स समन्वित मंच के मुख्य संयोजक जेपी चाहर ने बताया कि आठवें केंद्रीय वेतन आयोग के गठन की घोषणा के चार माह बाद भी आयोग का गठन को लेकर देरी की जा रही है। ऐसे में आयोग की संस्तुतितों में भी देरी होगी। चाहर ने पेंशन संशोधन को वेतन आयोग से अलग रखने संबंधी लोकसभा मे वित्त विधेयक पारित करने के विवाद को भी चर्चा में शामिल किया। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
व्यवस्था देते हुए रामकुमार अग्रवाल और रामेश्वर दयाल अग्रवाल ने मंगलवार 22 अप्रैल को नगर मजिस्ट्रेट कार्यालय पर प्रदर्शन कर जिलाधिकारी को ज्ञापन सौंपने की घोषणा की है। अध्यक्ष ने बताया कि उत्तर प्रदेश उत्तराखंड राजकीय पेंशनर्स समन्वित मंच के तत्वावधान में प्रधानमंत्री और दोनों मुख्यमंत्रियों को ज्ञापन भेजे जाएंगे। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
बैठक में आरके अस्थाना और भूपेंद्र सिंह ने कैशलेस गोल्डन कार्ड चिकित्सा की कठिनाइयों और विसंगतियों पर चिंता व्यक्त कर इन्हें दूर करने की मांग दुहराई। मंच के संयोजक बीपी चौहन ने कहा कि आठवें वेतन आयोग के विचारणीय संदर्भ में पेंशनर संगठनों की भी राय ली जानी चाहिए। बीपी सिंह सैनी ने पेंशनर संगठनों को सक्रिय करने की बात कही। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
ओपी यादव ने पेंशनर हित मे तन मन धन से सहयोग करने का संकल्प लेते हुए आंदोलन सफल बनाने का आह्वान किया। सुशील कुमार सैनी और पंकज गुप्ता ने राजस्व और कोषागार संबंधी समस्याओं के निराकरण की जिम्मेदारी निभाने की घोषणा की। मधु सिंह और कमलेश शर्मा ने 22 अप्रेल को होने वाले प्रदर्शन और ज्ञापन कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए संपर्क अभियान चलाने का सुझाव दिया। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
सतीश चंद गुप्ता ने ईपीएफओ के पेंशनर की समस्याओं के निराकरण और पेंशन पुनरीक्षण की अपील की। रेशम सिंह और अनिल गुप्ता ने संगठन की आर्थिक मजबूती के लिए आगे आने का आह्वान सभी पेंशनर्स से किया है। रामसरीख और स्वदेश चौहान ने मांगे नहीं माने जाने पर आंदोलन तेज करने की सलाह दी। महावीर प्रसाद ध्यानी ने आंदोलन को समय की आवश्यकता बताते हुए जोरदार प्रदर्शन की बात कही। बैठक के अंत मे रामकुमार अग्रवाल ने अपने अध्यक्षीय संबोधन में 22 अप्रेल को होने वाले कार्यक्रम में जोरदार भागीदारी की अपील की। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
बैठक में बीपी चौहान, जेपी चाहर, राम कुमार अग्रवाल, आर डी अग्रवाल, एल सी पांडे, अनिल गुप्ता, बी पी सिंह सैनी, सुशील सैनी , पंकज गुप्ता, आर के अस्थाना, शिवकुमार शर्मा , रामसरीख के अलावा जीपीडब्लूओ के शाखाध्यक्ष वी के गुप्ता, कोषाध्यक्ष एम के अग्रवाल, शीशपाल, सुरेश कुमार, एस एस चौहान, मोहन लाल शर्मा, मनोज कुमार शर्मा, के आर जोशी, नवरत्न लाल, गीता शर्मा आदि ने आदि उपस्थित थे।
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।