चक्रवाती तूफान तौकते से कई राज्यों में तबाही शुरू, उत्तराखंड में भी दिखेगा असर, दो दिन भारी बारिश का रेड अलर्ट

भारत के दक्षिण पश्चिम राज्यों पर चक्रवाती तूफान तौकते ने असर दिखना शुरू कर दिया है। केरल, कर्नाटक और गोवा में तबाही मचाने के बाद इसका असर सोमवार को महाराष्ट्र में भी देखने को मिल रहा है। मुंबई में तेज हवाओं के साथ बारिश का सिलसिला जारी है। तेज हवाओं से पेड़ उखड़ रहे हैं। कई जगह वाहनों पर भी पेड़ गिरे। हालांकि महाराष्ट्र में किसी जानमाल के नुकसान की सूचना नहीं है। चक्रवाती तूफान के अलर्ट के बीच बीएमसी ने मुंबई में बांद्रा-वर्ली सी लिंक को अगले आदेश तक के लिए बंद कर दिया गया है। प्रशासन एवं राज्य सरकार की ओर से लोगों से घरों में रहने की अपील की जा रही है। वहीं, इसका असर उत्तराखंड में भी देखने को मिलेगा। 18 मई से बारिश का सिलसिला तेज होगा। 19 व 20 मई को उत्तराखंड में जोरदार बारिश की संभावना है। ऐसे में मौसम विभाग ने रेड अलर्ट जारी किया है।
मुंबई में तेज हवाओं के साथ बारिश
मुंबई में तेज हवाओं के साथ बारिश हो रही है। मौसम विभाग ने बारिश को लेकर ऑरेंज अलर्ट जारी किया है। मुंबई के वडाला में चक्रवात तौकते का प्रभाव दिखना तौकते का प्रभाव दिखना शुरू हो चुका है। तेज हवाएं चल रही हैं। साथ ही रिमझिम बारिश भी हो रही है। तूफान के खतरे के बीच मुंबई में 5 जगह अस्थायी शेल्टर होम बनाए गए हैं। पश्चिमी मुंबई में एनडीआरएफ की तीन टीम और बाढ़ से बचाव के लिए फायर ब्रिगेड की 6 टीमें भी तैनात की गई हैं।
अब तक आठ लोगों की मौत
अलग-अलग राज्यों में अब तक तूफान से प्रभावित इलाकों में 8 लोगों की मौत हो गई है। कई सौ पेड़ गिरे हैं। साथ ही घरों को भी नुकसान पहुंचा है। महाराष्ट्र में भी घर-मकानों को क्षति पहुंची है। चक्रवाती तूफान अब गुजरात की तरफ बढ़ रहा है। तूफान की आहट के साथ गुजरात के तटीय इलाके में आज और कल भारी बारिश की आशंका है। गुजरात में भी आपदा से निपटने के लिए एनडीआरएफ की 50 टीमें तैनात की गई हैं।
गुजरात में तबाही की आशंका से प्रशासन अलर्ट
गुजरात के कच्छ में तूफान से तबाही की आशंका को देखते हुए प्रशासन अलर्ट पर है। साथ ही तटीय इलाकों के मछुआरों को सुरक्षित स्थानों पर शिफ्ट किया गया है। मौसम विभाग के मुताबिक गुजरात में तूफान के पहुंचने के दौरान 155 से 165 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं। तूफान के मद्देनजर सूरत एयरपोर्ट को शाम 6 बजे तक के लिए बंद कर दिया गया है। मौसम विभाग आइएमडी के अनुसार चक्रवाती तूफान तौकते 17 मई की शाम या 18 मई को गुजरात के समुद्री तट से टकरा सकता है। मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि ये तूफान और भी खतरनाक हो सकता है। 18 मई की सुबह तक चक्रवात तौकते पोरबंदर और महुवा के बीच से गुजरात तट को पार कर सकता है।
उत्तराखंड में दो दिन का रेड अलर्ट, होगी भारी बारिश
राज्य मौसम विज्ञान केद्र के वैज्ञानिक रोहित थपलियाल के मुताबिक 18 मई को उत्तराखंड में ओरेंज अलर्ट है। इस दिन पर्वतीय क्षेत्र के अधिकांश स्थानों के साथ ही मैदानी क्षेत्र में भी अनेक स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश गर्जन के साथ हो सकती है। साथ ही ऊंची पहाड़ियों पर बर्फबारी का भी अनुमान है।
19 और 20 मई का उत्तराखंड में रेड अलर्ट जारी किया गया है। इन दो दिन अधिकांश स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश गर्जन के साथ हो सकती है। ऊंचाई वाले स्थानों पर बर्फबारी की संभावना है। राज्य के देहरादून, हरिद्वार, टिहरी, उत्तरकाशी, चमोली, बागेश्वर, रुद्रप्रयाग तथा पिथौरागढ़ जिले मे कहीं कहीं भारी बारिश की भी संभावना है। कुछ स्थानों पर आकाशीय बिजली चमकने और तेज बौछार की संभावना है।
यही नहीं, राज्य के उत्तरकाशी, देहरादून, टिहरी, चमोली, नैनीताल, रुद्रप्रयाग और पिथौरागढ़ जिले में कहीं कहीं अतिवृष्टि की संभावना है। राज्य के मैदानी क्षेत्र में 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से तेज हवाएं भी चल सकती हैं। 21 मई को पर्वतीय क्षेत्र में हल्की से मध्यम बारिष, ऊंचाई वाले इलाकों में बर्फबारी की संभावना है। मैदानी क्षेत्र में कहीं कहीं बहुत हल्की से हल्की बारिश का अनुमान है।
दो सप्ताह से उत्तराखंड में हो रही बारिश, हो चुका भारी नुकसान
उत्तराखंड में पिछले दो सप्ताह के पर्वतीय क्षेत्र में बारिश हो रही है। कभी कभार मैदानी क्षेत्र में भी बारिश का असर देखने को मिल रहा है। पर्वतीय क्षेत्र में ओलावृष्टि के साथ ही बादल फटने की घटनाएं हो रही हैं। बुधवार 12 मई को नैनीताल जिले के कैंचीधाम में बादल फटने से भारी तबाही मची। मंदिर परिसर मलबे से अट गया था। इससे पहले मंगलवार 11 मई को गढ़वाल मंडल में देवप्रयाग में आंचलच पर्वत पर बादल फटने से शांता गदेरे (बरसाती नाला) में आए उफान से कई घर और दुकान ध्वस्त हो गई। हालांकि कर्फ्यू के कारण दुकानें बंद थी और घरों से लोगों ने ऊंचाई वाले इलाकों में भागकर जान बचाई।
इससे पहले छह मई को बादल फटने से टिहरी जिले के घनसाली और जाखणीधार ब्लॉक में काफी नुकसान हुआ था। कई हेक्टेयर जमीन तेज बहाव में बह गई थी, जबकि घनसाली बाजार में कई वाहन मलबे में दब गए। जंगलों में बादल फटने से स्थानीय नैलचामी गदेरे में जलस्तर बढ़ गया, जिससे ये नुकसान हुआ था। वहीं, कुछ दिन पहले चमोली जिले में घाट क्षेत्र और रुद्रप्रयाग जिले में भी बादल फटने से नुकसान हुआ था। आकाशीय बिजली गिरने से उत्तरकाशी में कई मवेशियों की भी जान गई। फिलहाल, ज्यादातर शहरों का तापमान सामान्य बना हुआ है।
आने वाले चार दिन कम होगा तापमान
उन्होंने बताया कि आने वाले चार दिनों में तापमान कम होगा। इस ससमय सामान्य से कुछ अधिक चल रहा है। बारिश का दौर तेज होते ही अधिकतम तापमान चार से छह डिग्री सेंटीग्रेड तक कम हो सकता है।
Bhanu Bangwal
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।