चक्रवाती तूफान ताउते का असर दिल्ली से उत्तराखंड तक, रिमझिम बारिश शुरू, उत्तराखंड के इन स्थानों पर होगी तेज बारिश
अरब सागर में उठे चक्रवाती ताउते का असर दिल्ली एनसीआर से लेकर देश के कई राज्यों में नजर आने लगा है। दिल्ली एनसीआर से लेकर उत्तराखंड में रिमझिम बारिश का दौर शुरू हो गया है।

अरब सागर में उठे चक्रवाती ताउते का असर दिल्ली एनसीआर से लेकर देश के कई राज्यों में नजर आने लगा है। दिल्ली एनसीआर से लेकर उत्तराखंड में रिमझिम बारिश का दौर शुरू हो गया है। बारिश के कारण दिल्ली सहित अन्य राज्यों में तापमान में गिरावट भी दर्ज की गई है। ये गिरावट अगले दो दिन तक जारी रहने का अनुमान है। इसके साथ ही उत्तराखंड में आज 19 मईऔर कल 20 मई रेड अलर्ट जारी है। इस दौरान जोरदार बारिश की संभावना है। भारतीय मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार, दिल्ली शहर में सुबह साढ़े सात बजे आर्द्रता का स्तर 85 प्रतिशत और हवाओं की रफ्तार 21 किलोमीटर प्रति घंटा दर्ज की गई। मौसम विभाग ने दिल्ली के अलावा उत्तराखंड और राजस्थान में भारी बारिश की चेतावनी दी है। यूपी के भी कई इलाकों में बारिश का दौर शुरू हो चुका है।
मौसम हुआ सुहावना
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि मौसम विभाग ने मंगलवार को अनुमान व्यक्त करते हुए कहा था दिल्ली और उसके आसपास के इलाकों में ताउते चक्रवात के कारण तेज हवाओं के साथ बारिश हो सकती है। हालांकि मौसम सुहाना होने के कारण दिल्ली वासियों को गर्मी से जरूर राहत मिली है। इधर चक्रवात ताउते के कारण देश के कई हिस्सों में बारिश और तापमान में गिरावट देखी जा रही है। महाराष्ट्र में बारिश का सिलसिला जारी है, सुबह साढ़ 6 बजे से ही तेज बारिश हो रही है, साथ ही हवाएं भी खासी तेज हैं।
गुजरात में तबाही के बाद अब राज्यों में होगी भारी बारिश
गुजरात में तूफान के कारण जमकर तबाही मचाई है वही राजस्थान, बिहार, उत्तर प्रदेश और उत्तराखंड जैसे राज्यों में भी आज बारिश का अनुमान व्यक्त किया गया है। भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने कहा कि ताउते अब कमजोर होकर चक्रवाती तूफान में तब्दील हो गया है और जैसे-जैसे उत्तर की तरफ बढ़ेगा यह “गहरे दबाव” में बदल जाएगा।
उत्तराखंड का मौसम
उत्तराखंड में करीब दो सप्ताह से अधिक समय से पर्वतीय क्षेत्र में तो हर दिन ही बारिश हो रही है। इस दौरान बादल फटने की कई घटनाएं भी हो चुकी हैं। बुधवार 19 मई की सुबह से ही प्रदेश के अधिकांश हिस्सों में बादल हैं। साथ ही देहरादून सहित गढ़वाल के अधिकांश स्थानों पर हल्की बूंदाबांदी हो रही है। कुमाऊं में भी रिमझिम बारिश का दौर शुरू हो चुका है। मौसम विभाग ने आज और कल तेज बारिश की चेतावनी दी है।
आगामी मौसम का हाल
राज्य मौसम विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिक रोहित थपलियाल के मुताबिक 19 और 20 मई का उत्तराखंड में रेड अलर्ट जारी किया गया है। इन दो दिन अधिकांश स्थानों पर हल्की से मध्यम बारिश गर्जन के साथ हो सकती है। ऊंचाई वाले स्थानों पर बर्फबारी की संभावना है। राज्य के देहरादून, हरिद्वार, टिहरी, उत्तरकाशी, चमोली, बागेश्वर, रुद्रप्रयाग तथा पिथौरागढ़ जिले मे कहीं कहीं भारी बारिश की भी संभावना है। कुछ स्थानों पर आकाशीय बिजली चमकने और तेज बौछार की संभावना है।
यही नहीं, राज्य के उत्तरकाशी, देहरादून, टिहरी, चमोली, नैनीताल, रुद्रप्रयाग और पिथौरागढ़ जिले में कहीं कहीं अतिवृष्टि की संभावना है। राज्य के मैदानी क्षेत्र में 30 से 40 किलोमीटर प्रति घंटा की रफ्तार से तेज हवाएं भी चल सकती हैं। 21 मई को यलो अलर्ट है। इस दिन पर्वतीय क्षेत्र में हल्की से मध्यम बारिश, ऊंचाई वाले इलाकों में बर्फबारी की संभावना है। मैदानी क्षेत्र में कहीं कहीं बहुत हल्की से हल्की बारिश का अनुमान है। 22 मई को भी पर्वतीय क्षेत्र में हल्की से मध्यम बारिश का अनुमान है। वहीं, मैदानी इलाकों में मौसम शुष्क रहेगा। उन्होंने बताया कि आने वाले दो-तीन दिनों में तापमान कम होगा। इस समय सामान्य के करीब चल है। बारिश का दौर तेज होते ही अधिकतम तापमान चार से छह डिग्री सेंटीग्रेड तक कम हो सकता है।
दो सप्ताह से उत्तराखंड में हो रही बारिश, हो चुका भारी नुकसान
उत्तराखंड में पिछले दो सप्ताह के पर्वतीय क्षेत्र में बारिश हो रही है। कभी कभार मैदानी क्षेत्र में भी बारिश का असर देखने को मिल रहा है। पर्वतीय क्षेत्र में ओलावृष्टि के साथ ही बादल फटने की घटनाएं हो रही हैं। बुधवार 12 मई को नैनीताल जिले के कैंचीधाम में बादल फटने से भारी तबाही मची। मंदिर परिसर मलबे से अट गया था। इससे पहले मंगलवार 11 मई को गढ़वाल मंडल में देवप्रयाग में आंचलच पर्वत पर बादल फटने से शांता गदेरे (बरसाती नाला) में आए उफान से कई घर और दुकान ध्वस्त हो गई। हालांकि कर्फ्यू के कारण दुकानें बंद थी और घरों से लोगों ने ऊंचाई वाले इलाकों में भागकर जान बचाई।
इससे पहले छह मई को बादल फटने से टिहरी जिले के घनसाली और जाखणीधार ब्लॉक में काफी नुकसान हुआ था। कई हेक्टेयर जमीन तेज बहाव में बह गई थी, जबकि घनसाली बाजार में कई वाहन मलबे में दब गए। जंगलों में बादल फटने से स्थानीय नैलचामी गदेरे में जलस्तर बढ़ गया, जिससे ये नुकसान हुआ था। वहीं, कुछ दिन पहले चमोली जिले में घाट क्षेत्र और रुद्रप्रयाग जिले में भी बादल फटने से नुकसान हुआ था। आकाशीय बिजली गिरने से उत्तरकाशी में कई मवेशियों की भी जान गई।
Bhanu Bangwal
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।