अपने गांव की सड़क भी नहीं बना पाए सीएम तो प्रदेश का होगा क्या हाल, एयर एंबुलेंस सिर्फ एयर मेंः शक्ति सिंह गोहिल
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सांसद शक्ति सिंह ने कहा कि कांग्रेस सरकार ने मेरा गांव मेरी सड़क योजना शुरू की और पहले साल ही हर ब्लॉक में चार सड़कें चयनीत कर उनका निर्माण किया। सत्ता परिवर्तन के बाद बीजेपी सरकार ने एक गलत और अकल्पनीय निर्णय लेते हुए इस योजना को हाशिये पर रख दिया। परिणामस्वरूप कांग्रेस के समय में तेजी से बढ़ रही गांव की कनेक्टिविटी में ठहराव आ गया। इस संबंध में उन्होंने वर्ष 2014 से लेकर अब तक के आंकड़ों से ये समझाने का प्रयास किया कि किस तरह से योजना में ठहराव आ गया है।
देहरादून में स्मार्ट सिटी की सड़कों का हाल
उन्होंने कहा कि ज्यादा दूर ना जाएं। देहरादून में स्मार्ट सिटी का हाल देख सकते हो। इससे ही अंदाजा लग जाएगा कि यदि ये स्मार्ट सिटी है तो प्रदेश का क्या हाल होगा। देहरादून में गड्ढायुक्त सड़कें राजधानी की साख पर बट्टा लगा रही हैं। आइएसबीटी में सबसे पहले पर्यटकों का सामना गड्ढ़ो से भरी सड़क से होता है।
सीडीएस जनरल बिपिन रावत का भी सपना रहा अधूरा
उन्होंने कहा कि 29 अप्रैल 2018 को जब सीडीएस जनरल बिपिन रावत पौड़ी जिले के द्वारीखाल ब्लाक स्थित अपने पैतृक गांव सैंणा पहुंचे थे, तब गांव के सड़क से न जुड़ने पर उन्होंने हैरानी जताई थी। तब उन्होंने कहा कि था उन्होंने स्वयं उत्तराखंड शासन को पत्र लिखकर सैंणा को मोटर मार्ग से जोड़ने का आग्रह किया है। फिर भी सड़क न बनना दुर्भाग्यपूर्ण है। फाइलों में तो सड़क स्वीकृत है और हकीकत अभी दूर है।
बदहाल सड़क के कारण सैकड़ों की मौत
उन्होंने कहा कि अक्टूबर 2021 में दन्या में सड़क के कारण प्रसव पीड़िता की मौत हो गई थी। विकासखंड धौलादेवी की गल्ली गांव निवासी गर्फवती महिला की प्रसव पीड़ा के कारण अस्पताल में जाते समय सड़क की बदहाली के चलते रास्ते में मौत हो गई थी। उत्तराखंड में ऐसा आएदिन होता रहता है। ऐसी समस्या से सैकड़ों की मौत हो जाती है।
एयर एंबुलेंस सिर्फ एयर में ही
अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता प्रो. गौरव वल्लभ ने कहा कि हवाई सेवा के नाम पर दूरस्थ इलाकों के लोगों को सपना दिखाया गया था। नैनी सैनी पिथौरागढ़, चिन्यालीसौड़, गौचर, अगस्त्यमुनि हो या पंतनगर कहीं भी हवाई सेवा व्यवस्थित नहीं है। उन्होंने कहा कि लोगों को केवल सपना दिखाया गया है। धरातल पर हालत शून्य है।
कांग्रेस नेताओं ने पूछे चार सवाल
उत्तराखंड में कनेक्टिविटी एक गंभीर समस्या है, तो तथाकथित धुआं छोड़ सरकार का इससे कोई सरोकार क्यों नहीं।
अब राजधानी की सड़कों पर चार चार फीट के गड्ढे हैं तो और जगहों का क्या हाल होगा।
मुख्यमंत्री आप अपने गांव को भी सड़क से क्यों नहीं जोड़ पाए।
जब उत्तराखंड सरकार खुद अपनी एयर एंबुलेंस संचालित कर सकती है तो एयर एंबुलेंस (हवाई सेवा) व्यवस्थित क्यों नहीं।
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।