18 दिसंबर को उत्तराखंड कांग्रेस का राजभवन घेराव कार्यक्रम, ये हैं प्रमुख मुद्दे, हैडिंग में लिखूंगा तो फेसबुक खबर को ही हटा देगा
उत्तराखंड कांग्रेस 18 दिसंबर को देहरादून में राजभवन घेराव करने जा रही है। ये कार्यक्रम पार्टी के राष्ट्रव्यापी अभियान के तहत किया जाएगा। इसके तहत कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा के नेतृत्व में 18 दिसंबर को प्रदेश कांग्रेस कार्यालय देहरादून से राजभवन तक मार्च का निर्णय किया गया है। इस बार राजभवन कूच के मुद्दों में ज्यादातर मुद्दे राष्ट्रीय स्तर के हैं। इसमें प्रमुख मुद्दे को यदि हैडिंग में लिखूंगा तो फेसबुक हमारी खबर के लिंक को कम्युनिटी के खिलाफ करार देकर उसे हटा देगा। क्योंकि सबसे बड़ा मुद्दा गौतम अडानी का है। उसके नाम से बनाई गई हैडिंग के समाचार को यदि फेसबुक में हम जब भी शेयर करते हैं, उसे फेसबुक हटा देता है। अब देखिए कि सरकार का इस मामले में सोशल मीडिया में भी कितना कब्जा है। वैसे हमारी खबर यानी लोकसाक्ष्य की खबर की हैडिंग में बीजेपी शब्द लिखा हो तो उसे भी फेसबुक हटा देता है।खेल समझ लीजिए कि मीडिया में कितना अंकुश है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
गत दिवस रविवार को प्रदेश कांग्रेस मुख्यालय देहरादून में प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष करन माहरा की अध्यक्षता में कांग्रेस की प्रदेश समन्वय समिति के सदस्यों एवं वरिष्ठ नेता, जिला अध्यक्षों की एक आवश्यक बैठक हुई। इस बैठक में कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने उद्योगपति गौतम अडानी और उनके सहयोगियों पर अमेरिका न्याय विभाग की ओर से लगाए गये आरोपों, भ्रष्टाचार, धोखाघडी और छल को लेकर विस्तार से जानकारी दी। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि मणिपुर में हिंसा, गोलीबारी, अराजकता हो रही है। ऐसे में अडानी प्रकरण के साथ ही अन्य मुद्दों को लेकर 18 दिसंबर 2024 को राजभवन घेराव किया जाएगा। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार की हठधर्मिता के कारण देश में लगातार हिंसक घटनाएं हो रही हैं। एक तरफ केंद्र सरकार गौतम अडानी को संरक्षण देने का काम कर रही है, वहीं मणिपुर की घटना का संज्ञान ना लेकर केन्द्र सरकार वहां के अराजक तत्वों को संरक्षण देने का काम कर रही है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि गौतम अडानी और उनके सहयोगियों पर अमेरिकी न्याय विभाग की ओर से लगाए गये आरोपों ने भाजपा और अडानी गठजोड़ के भ्रष्टाचार, धोखाधड़ी और छल की कथित जालसाजी को देश और दुनिया के सामने ला दिया है। इसके खिलाफ कांग्रेस पार्टी 18 दिसम्बर को प्रातः साढ़े दस बजे प्रदेश कांग्रेस कार्यालय देहरादून से राजभवन तक मार्च का कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि गौतम अडानी और उनके सहयोगियों पर जिस प्रकार के आरोप सामने आये हैं, उससे निश्चित रूप से भारत की छवि धूमिल हुई हैं। भ्रष्टाचार उजागर होने के साथ ही भाजपा अडानी के भ्रष्ट गठजोड़ का पर्दाफाश भी हुआ है। उन्होंने कहा कि अमेरिकी न्याय विभाग की ओर से लगाए गए आरोपों ने भाजपा और अडानी गठजोड़ के भ्रष्टाचार, धोखाधड़ी और छल की कथित जालसाजी का पर्दाफाश करने के साथ ही कांग्रेस पार्टी की ओर से लगाए गए आरोपों पर मुहर लगाने का काम किया है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि गौतम अडानी और उसके सहयोगियों पर लगाये गये भ्रष्टाचार के आरोपों ने रिश्वतखोरी, मनी लॉन्ड्रिंग और बाजार में हेरफेर के एक पैटर्न को उजागर किया है, जो भारतीय व्यापार और वित्त की प्रतिष्ठा को धूमिल करते हैं। यह घटना भारत के कॉर्पोरेट गवर्नेंस और नियामक निगरानी के सम्बन्ध मे चिंता का विषय है। घरेलू और अंतरराष्ट्रीय निवेशकों के बीच विश्वास की हानि गंभीर चिंता का विषय है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उन्होंने कहा कि इस प्रकरण से भारत में पूंजी के संभावित पलायन से आर्थिक विकास, रोजगार सृजन और समग्र विकास बाधित हो सकता है। गौतम अडानी भ्रष्टाचार मामले को लेकर केन्द्र की मोदी सरकार द्वारा संसदीय चर्चा को जानबूझकर रोकना और इस मुद्दे पर मौन रहना अपनी जिम्मेदारी और जवाबदेही से बचने का संकेत है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
करन माहरा ने यह भी कहा कि मणिपुर राज्य निरंतर हिंसा, गोलीबारी, कर्फ्यू और व्यापक अराजकता के एक अभूतपूर्व संकट का सामना कर रहा है। मणिपुर हिंसा में अब तक कई लोगों की जाने चली गई हैं और वहां के लोग एक अनिश्चित भविष्य का सामना कर रहे हैं। संकट की गंभीरता के बावजूद भाजपा की केन्द्र और राज्य सरकार इस स्थिति को संभालने में पूरी तरह विफल साबित हुई हैं। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
उत्तराखंड कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने कहा कि मणिपुर के संबंध में प्रधानमंत्री का मौन रहना और संसद में बहस से बचना यह साबित करता है कि मणिपुर के मामले में प्रधानमंत्री ने जानबूझकर हिंसा को बढ़ावा देने का काम किया है। उन्होंने कहा कि इतनी बड़ी हिंसा के बावजूद भी अभी तक पीएम ने मणिपुर का दौरा तक नहीं किया है, जबकि पूरी तरह अयोग्य मुख्यमंत्री अभी तक सत्ता में काबिज हैं। इससे इस गंभीर स्थिति के प्रति भाजपा की उदासीनता का पता चलता है। (खबर जारी, अगले पैरे में देखिए)
बैठक में विधायक बिक्रम सिंह नेगी, ममता राकेश, प्रदेश कांग्रेस के उपाध्यक्ष संगठन मथुरा दत्त जोशी, पूर्व विधायक जोत सिंह गुनसोला, प्रदेश उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना, महानगर कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष डॉ. जसविन्दर सिंह गोगी, महिला कांग्रेस की अध्यक्षा ज्योति रौतेला, सलाहकार अमरजीत सिंह, सेवादल की मुख्य संगठक हेमा पुरोहित, एनएसयूआई के प्रदेश अध्यक्ष विकास नेगी, गौरव चौधरी, जयेन्द्र रमोला आदि वरिष्ठ नेतागण उपस्थित थे।
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भानु बंगवाल, देहरादून, उत्तराखंड।